कार्तिक पूर्णिमा पर स्नान के लिए पवित्र नदियों के तट पर लाखों की भीड़ उमड़ती है. कार्तिक पूर्णिमा के दिन जो व्यक्ति किसी पवित्र नदी में स्नान और दान पुण्य करता है तो उसे इस पूरे महीने की गई पूजा पाठ के बराबर फल मिलता है. इस साल Kartik Purnima 8 नवंबर को है, लेकिन चंद्र ग्रहण के कारण सभी धार्मिक स्थानों पर एक दिन पहले ही देव दीपावली मनाई जा रही है. कार्तिक पूर्णिमा का महत्व और मान्यताएं क्या-क्या है?
कार्तिक पूर्णिमा से जुड़ी पौराणिक मान्यताएं
मान्यता यह भी है कि कार्तिक मास में नारायण मत्स्य रूप में जल में विराजमान रहते हैं और इस दिन मत्स्य अवतार को त्यागकर वापस बैकुंठ धाम चले जाते हैं. Read More – टल गई फिल्म Adipurush की रिलीज डेट, नई डेट अनाउंस करने हुए मेकर्स ने कहा – वादा किया था …
भगवान विष्णु ने लिया था मत्स्य अवतार
मान्यता है कि कार्तिक माह में भगवान विष्णु ने मत्स्य अवतार लिया था. पूर्णिमा को देव दीपावली के नाम से भी जाना जाता है. Kartik Purnima को महत्व जितना शैव मत में है उतना ही वैष्णवों में भी है.
भगवान शिव को मिला था नया नाम
इस दिन भगवान शिव को एक नया नाम त्रिपुरारी मिला था. शिव ने एक अनोखे रथ पर सवार होकर अजेय असुर त्रिपुरासुर का वध किया था. इसलिए इस दिन काशी में देव दीपावली भी मनाई जाती है.
पांडवों ने किया था दीप दान
महाभारत युद्ध की समाप्ति पर पांडव बहुत दुखी थे उनके सगे-संबंधियों की असमय मृत्यु को प्राप्त हुए उनकी आत्म शांति कैसे हो. भगवान श्रीकृष्ण के बताने पर पांडवों ने आज पितरों की आत्मा तृप्ति के लिए गढ़ मुक्तेश्वर में तर्पण और दीप दान किया था. Read More – राष्ट्रीय कैंसर जागरूकता दिवस : 80 फीसदी महिलाओं को पता ही नहीं चलता उन्हें कैंसर है, लाइफस्टाइल से बढ़ रही रोगियों की संख्या …
देवी तुलसी का प्राकट्य
कार्तिक शुक्ल एकादशी तिथि को देवी तुलसी का भगवान के शालिग्राम स्वरूप से विवाह हुआ था और पूर्णिमा तिथि को देवी तुलसी का बैकुंठ में आगमन हुआ था. Kartik Purnima के दिन ही देवी तुलसी का पृथ्वी पर भी आगमन हुआ है.
कार्तिक पूर्णिमा पर क्या करें
- कार्तिक पूर्णिमा के दिन प्रदोष काल में किसी नदी, तालाब में दीपदान करने का विशेष महत्व माना जाता है. ऐसा कहा जाता है कि दीप दान करने से घर परिवार में सुख समृद्धि आती है.
- Kartik Purnima के दिन विशेष समृद्धि योग बन रहा है, इसलिए शिवलिंग पर जल अवश्य चढ़ाएं और 108 बार ओम नम: शिवाय मंत्र का जप करें.
- माता लक्ष्मी को प्रसन्न करने के लिए इस दिन पीपल की पूजा करें और उसके चारो तरफ दीपक जलाएं. पीपल में लक्ष्मी का वास माना गया है। ऐसा करने से माता लक्ष्मी प्रसन्न होती है.
- पुराणों में कार्तिक पूर्णिमा के दिन को बहुत पवित्र माना गया है, इसलिए प्याज, लहसुन, मांस, मदिरा का सेवन, अंडा जैसे तामसिक भोजन से बचना चाहिए. पूर्णिमा के दिन शारीरिक संबंध नहीं बनाने चाहिए और ब्रह्मचर्य का पालन करना चाहिए.
- कार्तिक पूर्णिमा के दिन आप सभी देवी-देवताओं को प्रसन्न कर सकते हैं. यह आध्यात्मिक दिन है इसलिए घर में इस दिन शांति और सद्भाव बनाकर पूर्वजों को याद करना चाहिए. भूलकर भी घर का माहौल लड़ाई-झगड़े से खराब नहीं करना चाहिए.
- छतीसगढ़ की खबरें पढ़ने के लिए करें क्लिक
- मध्यप्रदेश की खबरें पढ़ने यहां क्लिक करें
- उत्तर प्रदेश की खबरें पढ़ने यहां क्लिक करें
- दिल्ली की खबरें पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें
- पंजाब की खबरें पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें
- लल्लूराम डॉट कॉम की खबरें English में पढ़ने यहां क्लिक करें
- खेल की खबरें पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें
- मनोरंजन की खबरें पढ़ने के लिए करें क्लिक