रायपुर. सामाजिक सुरक्षा की विभिन्न पेंशन योजनाओं के लाभ से वंचित लगभग चार लाख 89 हजार लोगों के लिए राज्य शासन द्वारा मुख्यमंत्री पेंशन योजना शुरू कर दी गई है. इस योजना का यह पहला साल है. इसके लिए चालू वित्तीय वर्ष 2018-19 के प्रथम अनुपूरक बजट में 200 करोड़ रूपए का प्रावधान किया गया है. उन्हें हर महीने 350 रूपए की दर से पेंशन दी जाएगी. यह योजना वर्तमान में चल रही राष्ट्रीय तथा राज्य की पेंशन योजनाओं के अतिरिक्त होगी.

चार लाख 89 हजार हितग्राही वंचित…

समाज कल्याण के अधिकारियों ने रविवार को बताया कि राज्य में वर्ष 2002 की गरीबी रेखा सर्वे सूची के आधार पर वर्तमान में लगभग 16 लाख 21 हजार हितग्राहियों को विभिन्न सामाजिक सुरक्षा पेंशन योजनाओं का लाभ मिल रहा है, जबकि केन्द्र सरकार की सामाजिक-आर्थिक-जाति जनगणना 2011 के अनुसार छत्तीसगढ़ में प्रचलित विभिन्न पेंशन योजनाओं के पात्रता रखने वाले हितग्राहियों में से वृद्धावस्था पेंशन और विधवा या परित्यक्ताओं को दी जाने वाली पेंशन के लाभ से लगभग चार लाख 89 हजार हितग्राही वंचित हैं.

समाज कल्याण विभाग के अधिकारी करेंगे मदद…

ऐसे हितग्राहियों के लिए मुख्यमंत्री डॉ. रमन सिंह के निर्देश पर विभाग द्वारा ’मुख्यमंत्री पेंशन योजना’ इस वर्ष एक अप्रैल से शुरू कर दी गई है. योजना के तहत पेंशन की राशि उनके बैंक खातों में ऑनलाइन जमा की जाएगी. अगर किसी आवेदक का बैंक एकाउंट नहीं है, तो आवेदन स्वीकृत होने के तुरंत बाद उन्हें खाता खोलना होगा. इस कार्य में समाज कल्याण विभाग के अधिकारी उनकी पूरी मदद करेंगे.

समाज कल्याण मंत्री रमशीला साहू भी इस नई योजना की नियमित रूप से समीक्षा कर रही हैं. उनके निर्देश पर समाज कल्याण विभाग ने यहां मंत्रालय (महानदी भवन) से प्रदेश के सभी संबंधित अधिकारियों को परिपत्र के रूप में मुख्यमंत्री पेंशन योजना 2018 की नियमावली भेजी गई है. यह परिपत्र सभी जिला कलेक्टरों, जिला पंचायतों के मुख्य कार्यपालन अधिकारियों, पंचायत और समाज कल्याण विभाग के संयुक्त और उप संचालकों, जनपद पंचायतों के मुख्य कार्यपालन अधिकारियों और नगर निगमों के आयुक्तों सहित नगर पालिकाओं तथा नगर पंचायतों के मुख्य नगर पालिका अधिकारियों जारी किया गया है.

विधवा और परित्यक्त महिलाओं को किया गया है लक्षित…

अधिकारियों ने बताया कि समाज कल्याण विभाग के परिपत्र में भारतीय संविधान के नीति निर्देशक सिद्धांतों का संदर्भ देते हुए यह भी कहा गया है कि सामाजिक सुरक्षा और वृद्धावस्था पेंशन के बारे में संविधान की समवर्ती सूची की सातवीं अनुसूची में मद 23 और 24 के रूप में किया गया है. इन्हीं मार्गदर्शी सिद्धांतों के अनुरूप छत्तीसगढ़ सरकार द्वारा चालू वित्तीय वर्ष 2018-19 से सामाजिक सहायता कार्यक्रम के तहत मुख्यमंत्री पेंशन योजना 2018 की शुरूआत की गई है.

न्होंने बताया कि इस योजना में सामाजिक, आर्थिक और जाति जनगणना 2011 की सर्वे सूची के आधार पर वरिष्ठ नागरिकों, विधवा और परित्यक्त महिलाओं को लक्षित किया गया है. मुख्यमंत्री पेंशन योजना के लिए निर्धारित पात्रता के अनुसार छत्तीसगढ़ के मूल निवासी 60 वर्ष या उससे अधिक आयु के वरिष्ठजन, 18 वर्ष या उससे अधिक उम्र की विधवा अथवा शादी के बाद परित्यक्त महिला को इसका लाभ मिलेगा.

एक सप्ताह में भेजा जाएगा…

हितग्राहियों को इसके लिए निर्धारित प्रारूप में आवेदन करना होगा. आवेदन पत्र का प्रारूप ग्रामीण क्षेत्रों के लिए जनपद पंचायतों द्वारा छपवाया जाएगा और ग्राम पंचायतों को दिया जाएगा.आवेदक अपने ग्राम पंचायत कार्यालय से फार्म लेकर वहीं उसे जमा करेंगे, जिसकी पावती उनकी दी जाएगी. ग्राम पंचायत द्वारा इन आवेदन पत्रों की जांच करने के बाद अपने अभिमत के साथ एक सप्ताह के भीतर जनपद पंचायतों को भेजा जाएगा.

अधिकारियों ने यह भी बताया कि शहरी क्षेत्रों में आवेदन पत्र का प्रारूप नगर निगमों, नगर पालिकाओं और नगर पंचायतों द्वारा अपने स्तर पर छपवाकर आवेदकों को दिया जाएगा. आवेदक नगरीय निकायों से फार्म लेकर आवेदन करेंगे और वहीं जमा करेंगे, जिसकी पावती नगरीय निकायों द्वारा उनको दी जाएगी। सभी आवेदन पत्रों को जनपद पंचायतों और नगरीय निकायों के दफ्तरों में कम्प्यूटरों पर ऑनलाइन दर्ज किया जाएगा. आवेदक अगर चाहे तो सीधे ऑनलाइन आवेदन कर सकेंगे. छपा हुआ आवेदन फार्म नहीं मिलने की स्थिति में निर्धारित प्रारूप में सादे कागज पर भी आवेदन किया जा सकेगा.