दिल्ली. केंद्र सरकार अब  फेसबुक पोस्ट, सोशल मीडिया पर साझा की जा रहे तथ्य पर पैनी नजर रखने की तैयारी में है. इसके लिए सरकार ने एक निविदा भी जारी किया है. जिसमें सरकार को एसी कंपनी की तलाश में है जो सोशल मीडिया कंटेंट पर विशेष नजर रखे और उसका विशलेषण करे. इसके अलावा मोदी सरकार की मदद से देश में राष्ट्रीयत की भावना का विस्तार करने और देश विरोधी दुष्प्रचार को रोकने में मदद करे.

मीडिया रिपोर्टस के अनुसार सूचना और प्रसारण मंत्रालय ने ऑनलाइन टेंडर जारी कर ऐसी कंपनी से आवेदन मांगा है. इसके अनुसार कंपनी एेसी हो जो सामाजिक मीडिया की निगरानी के लिए एक सॉफ्टवेयर समेत कम से कम 20 लोगों की विशेष टीम के साथ सरकार को एक रियल टाइम न्यू मीडिया कमांड रूम की सुविधा दे सके.

अच्छी छवि बनाने में मदद

आईबी मंत्रालय के विज्ञापन के मुताबिक कंपनी को , यू-ट्यूब, लिंक्डइन समेत तमाम इंटरनेट फोरम और ईमेल की मॉनिटरिंग करते हुए इन प्लेटफॉर्म्स पर संवेदनशील पोस्ट्स की पहचान करनी है. इसके साथ ही कंपनी को फेक न्यूज की पहचान करते हुए केन्द्र सरकार के नाम से पोस्ट्स और मैसेज का संचार करना है. सरकार का दावा है कि वह संवेदनशील और फेक कंटेन्ट को रोकने के साथ-साथ ऐसे पोस्ट का संचार करवाएगी जिससे देश की अच्छी छवि बनाने में मदद मिले.

आपको बता दें पिछले प्रधानमत्री नरेंद्र मोदी सोशल मीडिया में काफी सक्रीय रहते हैं. उनके अलावा सरकार के संभी मंत्री इस प्लैटफार्म का जमकर इस्तेमाल करते हैं. इतना ही नहीं सोशल मीडिा का सहारा लेते हुए कई मंत्री अपनी योजनाओं और अपनी आम जनमानस तक सीधे रखते हैं. ऐसे में सरकार का यह कदम महत्वपूर्ण .

इस निविदा से यह भी साफ जारी है कि सरकार अब देश की अच्छी छवि के निर्माण के लिए एक ताकतवर सॉफ्टवेयर के साथ-साथ एक मजबूत पेशेवरों की टीम का इस्तेमाल करने जा रही है. जिसका फायदा उन्हें भविष्य में हो सकता है. हालांकि सरकार ने इस निविदा को लेकर चुप्पी साध रखी है.