एक हैरान करने वाली खबर सामने आई है. स्कूल में बच्चों की पढ़ाई के लिए आईं निशुल्क किताबों को प्रधानाध्यपक ने कबाड़ी को बेच दिया और उससे मिले पैसों से केले खा गए. ये सुनकर भले ही आपको यकीन न हो, लेकिन ये सच है. वीडियो वायरल होने से विभाग में हड़कंप मच गया है.

यह मामला यूपी के फतेहपुर जिले के चिंतनपुर के परिषदीय स्कूल का है, जहां नौनिहालों को मुफ्त में दी जाने वाली किताबों को बेचकर केले खाए जा रहे हैं. सरकारी किताबें बेचने का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है, जिससे विभाग में हड़कंप मच गया है. बीएसए संजय कुमार कुशवाहा ने इस मामले की जांच के आदेश दिए हैं.
चिंतनपुर गांव के प्राथमिक विद्यालय में तैनात प्रधान अध्यापक हरिशंकर मिश्रा पर आरोप है कि वो बच्चों को दी जाने वाली निशुल्क किताबों को कबाड़ी को बेचकर केले खा रहे हैं. ग्रामीणों ने इसका वीडियो बनाकर सोशल मीडिया पर वायरल कर दिया. वायरल वीडियो में साफ देखा जा सकता है कि कबाड़ी को किताबें बेची गई हैं. ये किताबें इसी सत्र यानी 2022-2023 में बच्चों को दी जानी थी. प्रत्यक्षदर्शी ग्रामीण ने बताया कि प्रधान अध्यापक करीब 14 सालों से इस विद्यालय में तैनात हैं और यहीं पर रहते हैं. मिड डे मील खाते हैं.


बीएसए ने दिए जांच के आदेश
ये वीडियो रविवार का बताया जा रहा है. छुट्टी होने की वजह से प्रधानाध्यपक ने विद्यालय से सरकारी किताबें निकालकर बेच डाली. कबाड़ी वीडियो में बता रहा है कि वो पहले भी किताबें खरीद चुका है. गांव के एक युवक ने वीडियो में बताया कि अध्यापक ने किताबों को बेचकर केले खरीदे और चले गए. घटना के प्रत्यक्षदर्शी ग्रामीण ने बताया कि किताब बेचकर शिक्षक ने उस पैसे से केले लिए और खा गया. इससे पहले भी इनके द्वारा किताबें बेच गई हैं. इस मामले ने बीएसए संजय कुमार कुशवाहा ने बीईओ को जांच के आदेश दिए हैं.