एसीबी की टीम ने एक एेसी सब इंस्पेक्टर को गिरफ्तार किया है जो अपने पूरे र्खचे रिश्वत के पैसों से ही चलाती थी. इस सब इंस्पेक्टर को यह भी नहीं पता कि उसका वेतन उसके कौन से बैंक खाते में अाता है और उसका वेतन कितना है. अब इससे अंदाजा लगाया जा सकता है कि जिस पुलिस को लोगों के टैंक्स के पैसे से वेतन मिलता है उन्हें अपने वेतन की कितनी जरुरत है और एेसे रिश्वतखोर पुलिस अफसर कैसे अाम जनता के हितों का ख्याल रखते होंगे.
जयपुर. मामला जयपुर का है. एसीबी की टीम ने 50 लाख रुपए की रिश्वत मांगने वाली महिला सब इंस्पेक्टर और उसके पति को ट्रैप करने के मामले में कई बड़े चौंकाने वाले खुलासे हुए हैं. आरोपी महिला सब इंस्पेक्टर बबीता चौधरी और उसके पति को गिरफ्तार करने के बाद जब एसीबी टीम आरोपियों के वैशाली नगर स्थित मकान पर पहुंची और वहां तलाशी ली तो वहां से भी नकदी और प्रॉपर्टी के कागजात बरामद हुए हैं. एसीबी टीम ने आरोपी महिला सब इंस्पेक्टर बबीता चौधरी के घर से 5 लाख 81 हजार रुपए नगद और करोड़ों के प्रॉपर्टी पेपर बरामद किए हैं. मंगलवार को एसीबी की टीम ने शिप्रा पथ थाने में पदस्थ महिला सब इंस्पेक्टर बबिता चौधरी और उसके पति अमरदीप झारिया को गिरफ्तार किया था. जो कागजात आरोपी महिला के घर से बरामद किए गए हैं उसमें से कुछ कागजात आरोपी महिला के नाम तो वहीं कुछ कागज उसके पति के नाम से होना पाए गए हैं. एसीबी मुख्यालय में हुई पूछताछ में आरोपी पति पत्नी ने बताया कि वह वैशाली नगर में 15 हजार रुपए प्रतिमाह के किराए के मकान में रह रहे हैं. आरोपी जल्द ही वैशाली नगर में अपना स्वयं का मकान खरीदने की योजना भी बना रहे थे. आरोपी पति पत्नी से एसीबी अधिकारी उनके बैंक खातों की डिटेल और बैंक लॉकर की डिटेल के बारे में जानकारी जुटाने में लगे हुए हैं.
आरोपी महिला सब इंस्पेक्टर को नहीं है अपनी तनख्वाह की जानकारी
जब एसीबी मुख्यालय में एसीबी अधिकारियों ने आरोपी महिला सब इंस्पेक्टर बबीता चौधरी से पूछताछ करनी शुरू की और जब उससे तनख्वाह के बारे में पूछा गया तो उसने जो जवाब दिया वह जवाब सुनकर एसीबी अधिकारियों के भी होश उड़ गए. आरोपी महिला सब इंस्पेक्टर बबीता चौधरी ने एसीबी अधिकारियों को बताया कि उसे उसकी तनख्वाह के बारे में जानकारी नहीं है क्योंकि उसने आज तक बैंक खाते से अपनी तनख्वाह नहीं निकलवाई. यहां तक की उसका सैलरी अकाउंट किस बैंक में है उसके बारे में भी आरोपी महिला सब इंस्पेक्टर बबीता चौधरी को कोई जानकारी नहीं है.
पति के जरिए ही लेती थी रिश्वत राशि
एसीबी मुख्यालय में पूछताछ के दौरान आरोपी महिला सब इंस्पेक्टर बबीता चौधरी ने बताया कि वह कई लोगों से से पूर्व में भी रिश्वत ले चुकी है और अपने पति के माध्यम से ही वह रिश्वत राशि लिया करती थी. एसीबी की कार्रवाई से बचने के लिए ही आरोपी महिला सब इंस्पेक्टर खुद रिश्वत राशि ना लेकर अपने पति के माध्यम से लिया करती थी जिससे किसी को कोई शक भी नहीं हुआ करता था.दोनों को एसीबी ने कोर्ट में पेश कर 14 दिन की न्यायिक हिरासत में भेज दिया है.
ये है पूरा मामला
महिला सब इंस्पेक्टर ने एक परिवादी के खिलाफ मुकदमा दर्ज नहीं करने की एवज में रिश्वत मांगी गई थी. इस मोटी घूस की पहली किश्त के रूप में 5 लाख की राशि लेते दोनों पति-पत्नी एसीबी की गिरफ्त में आ गए. दरअसल परिवादी अपनी ऑनलाइन कम्पनी के जरिए सर्विस प्रोवाइडर का काम करता है. बीच में कुछ समय इस कम्पनी द्वारा बिटकॉइन के रूप में अपना पेमेन्ट लिया गया था. जिसकी रिकॉर्डिंग किसी तरह सब-इंस्पेक्टर बबीता के हाथ लग गई. यह रिकॉर्डिंग हाथ लगने के बाद बबीता परिवादी को ब्लैकमेल करने लगी और घूस नहीं देने पर मुकदमा दर्ज करने की धमकी दी जाने लगी. कम्पनी द्वारा बिटकॉइन के रूप में लिए गए पेमेन्ट के सम्बन्ध में थाने में कोई मुकदमा या रिपोर्ट दर्ज नहीं है और बबीता अपने ही स्तर पर घूस लेकर इस मामले को रफा-दफा करना चाह रही थी. थाने के ही सामने स्थित एक रेस्टोरेन्ट पर घूस की रकम लेने के लिए परिवादी को बुलाया गया था.