वीरेंद्र कुमार/नालंदा। रजौली-बख्तियारपुर मुख्य मार्ग पर टोल शुल्क से बचने की कोशिश अब ग्रामीण इलाकों के लिए जानलेवा बनती जा रही है। नालंदा जिले के रहुई प्रखंड के पैठना पंचायत अंतर्गत भागन बीघा और पतासंग गांव के पास बने कट-रोड से ट्रक, हाइवा और भारी वाहन बड़ी संख्या में गुजर रहे है। ये रास्ते रिहायशी क्षेत्रों और स्कूलों के बीच से होकर निकलते है जहां दिनभर बच्चे, साइकिल सवार और पैदल यात्री आते-जाते रहते हैं।
हादसों का बढ़ा खतरा
ग्राउंड रिपोर्ट के मुताबिक पूरे दिन सड़क पर धूल छाई रहती है। भारी वाहनों के शोर और कंपन से बच्चे और बुजुर्ग सहमे रहते हैं। कई जगह सड़क इतनी संकरी है कि दो वाहन एक साथ निकल ही नहीं पाते फिर भी अवैध आवाजाही जारी है। ग्रामीणों का कहना है कि अब तक कई छोटे हादसे हो चुके है लेकिन प्रशासन की ओर से कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया।
राजस्व का भी नुकसान
कट-रोड पर न बैरिकेडिंग है न चेतावनी संकेत और न ही भारी वाहनों पर सख्त प्रतिबंध। टोल से बचने के लिए रोज सैकड़ों वाहन इसी रास्ते का इस्तेमाल कर रहे है जिससे आम लोगों की जान जोखिम में पड़ रही है और सरकार को भी बड़े पैमाने पर राजस्व नुकसान हो रहा है।
ग्रामीणों की मांग-तुरंत रोक और सख्त कार्रवाई
ग्रामीणों ने कट-रोड पर भारी वाहनों को प्रतिबंधित करने संयुक्त निगरानी बढ़ाने, बैरिकेडिंग, स्पीड ब्रेकर और चेतावनी बोर्ड लगाने की मांग की है। अब सवाल यह है कि प्रशासन समय रहते कदम उठाएगा या किसी बड़े हादसे का इंतजार करेगा।
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