प्रयागराज. माफिया मुख्तार अंसारी के बेटे उमर अंसारी की जमानत अर्जी इलाहाबाद हाईकोर्ट ने मंजूर कर ली है. उमर की तरफ से अधिवक्ता उपेन्द्र उपाध्याय ने पक्ष रखा. सुनवाई के बाद अदालत ने अर्जी मंजूर कर ली. गाजीपुर कोर्ट ने उमर की जमानत याचिका खारिज कर दी थी. 21 अगस्त को ये याचिका खारिज की गई थी. इसके अलावा मुख्तार अंसारी की पत्नी अफशां अंसारी की याचिका पर भी न्यायालय ने सुनवाई की. अदालत ने निचली अदालत की कार्यवाही पर लगी अंतरिम रोक को अगली तिथि तक बढ़ा दिया है. अब इस मामले की अगली सुनवाई 28 अक्टूबर को होगी.
बता दें कि गैंगस्टर एक्ट में जब्त जमीन को कोर्ट से छुड़वाने के लिए फर्जी दस्तावेज लगाने और मां के दस्तखत बनाने के मामले में उमर अंसारी की जमानत मंजूर कर ली है. ये आदेश न्यायमूर्ति डॉ. गौतम चौधरी ने उमर अंसारी की अर्जी पर उसके अधिवक्ता और सरकारी वकील को सुनकर शुक्रवार को दिया. इससे पहले 21 अगस्त को गाजीपुर की एडीजे प्रथम कोर्ट ने उमर की जमानत याचिका खारिज कर दी थी. इसके बाद उमर ने हाईकोर्ट का रुख किया था.
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अफशां अंसारी के खिलाफ गाजीपुर के सैदपुर थाने में 2016 में धारा 406, 283 और 409 के तहत FIR दर्ज की गई थी. ये मामला विकास कंस्ट्रक्शन द्वारा सड़क निर्माण में गड़बड़ी से जुड़ा है. जिसकी रिपोर्ट अधिशासी अभियंता आर.एन. गुप्ता ने दर्ज कराई थी. अफशां अंसारी ने 23 नवंबर 2020 को पुलिस की चार्जशीट रद्द करने की अर्जी दाखिल की थी और मजिस्ट्रेट द्वारा संज्ञान लेने और समन नोटिस को भी चुनौती दी है. इस पर जस्टिस दिनेश पाठक की सिंगल बेंच में सुनवाई हुई, जहां अधिवक्ता उपेंद्र उपाध्याय ने पक्ष रखा.
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