इटावा। जिले में एक कथावाचक से जाति पूछने के बाद हुए विवाद को लेकर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कड़ा रुख अपनाया है। उन्होंने प्रदेश के वरिष्ठ अधिकारियों के साथ कानून व्यवस्था (Etawah Kathavachak Vivad) को लेकर उच्चस्तरीय बैठक की। जिसमें उन्होंने जातीय विद्वेष फैलाने की साजिशों पर गंभीर चिंता जताई।

सामाजिक एकता के लिए खतरा

सीएम योगी ने कहा कि ऐसी घटनाएं प्रदेश की छवि को धूमिल करती हैं और सामाजिक एकता के लिए खतरा हैं। उन्होंने प्रशासन को निर्देश दिए कि ऐसी किसी भी साजिश का तुरंत पर्दाफाश (Etawah Kathavachak Vivad) किया जाए। दोषियों की सार्वजनिक पहचान की जाए और उनके खिलाफ सख्त कानूनी कार्रवाई हो।

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तत्परता से निर्णय लेकर कदम उठाएं

सीएम ने यह भी स्पष्ट किया कि प्रशासन को कार्रवाई के लिए शासनादेश की प्रतीक्षा नहीं करनी चाहिए। बल्कि तत्परता से निर्णय लेकर (Etawah Kathavachak Vivad) कदम उठाएं। इधर, दोनों कथा वाचकों के खिलाफ फर्जी आधार कार्ड बनाने और जाति छुपा कर कथा करने के मामले धोखाधड़ी का मुकदमा दर्ज किया गया है।

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जानें क्या है पूरा मामला

गौरतलब है कि इटावा के थाना बकेवर क्षेत्र के गांव में कथावाचक (Etawah Kathavachak Vivad) मुकुट मणि यादव और उनके सहायक संत कुमार यादव के साथ ब्राह्मण समुदाय के कुछ लोगों ने बदसलूकी की थी। लोगों ने उनकी चोटी और बाल काट दिए थे। जातिसूचक शब्द कहते हुए वीडियो भी बनाया था, जो सोशल मीडिया पर वायरल हो गया।

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पीड़ितों का आरोप है कि उन्हें फर्जी कथावाचक (Etawah Kathavachak Vivad) बताकर बंधक बनाया गया। संत कुमार के चोटी और बाल काटे गए और एक महिला से जबरन पैर छुआए गए। इसके साथ ही हारमोनियम भी तोड़ दिया गया और उन पर मानव मूत्र का छिड़काव किया गया। वीडियो वायरल होने के बाद पुलिस ने 4 आरोपियों को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया था।