कानपुर. जिम ट्रेनर ने कारोबारी की पत्नी की हत्या कर डीएम बंगले से सटे ऑफिसर्स क्लब में दफना दिया था. जिसके बाद पुलिस ने घटना के 4 महीने बाद हत्यारे को गिरफ्तार किया था. गिरफ्तारी के बाद आरोप जिम ट्रे्नर ने बताया था कि कारोबारी की पत्नी एकता गुप्ता के नाजायज संबंध थे. हालांकि, घटना को लेकर कई सवाल खड़े हो रहे हैं. क्या एकता क्लब में जिंदा पहुंची थी? या फिर एकता को किसी हाई प्रोफाइल अधिकारी की करतूतों का पता चल गया था. क्योंकि ऑफिसर्स क्लब में लड़कियों का काफी आना-जाना रहता है. इस पूरे मामले में पुलिस की भूमिका पर भी सवाल उठ रहा है.
बता दें कि एकता हत्याकांड की गुत्थी सुलझने की बजाय और उलझती हुई नजर आ रही है. इसकी बड़ी वजह है पुलिस के बदलते बयान भी है. अब ऐसा भी आशंका जताई जा रही है कि पुलिस कुछ छुपाने की कोशिश कर रही है. ऐसा इसलिए क्योंकि, जब पुलिस से पूछा गया कि क्या गड्ढा पहले से खोदा गया था या बाद में खोदा गया. जिसका जवाब देते हुए पुलिस ने कहा पौधरोपण के लिए खोदा गया होगा. जब साइज को लेकर सवाल किया गया तो अफसर कह रहे हैं कि प्लानिंग के तहत हत्यारोपी ने पहले गड्ढा खोदा होगा.
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इतना ही नहीं पुलिस ये भी कह रही है कि आरोपी ऑफिसर्स क्लब के अंदर कार लेकर गया था, जिसकी चौड़ाई 1676 एमएम है. लेकिन आरोपी जिस कार में गया था, उसकी चौड़ाई 1680 एमएम है. साथ ही सवाल ये भी खड़े हो रहे हैं जब वारदात के दूसरे दिन ही आरोपी की कार से रस्सी, खून और सामान मिल गया था तो पुलिस अब तक क्या कर रही थी. हालांकि, ये तो पूरे मामले की जांच के बाद ही साफ हो पाएगा कि कहां झोल है और इस मामले में और कौन-कौन शामिल था.
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