अंकित मिश्रा, बाराबंकी. बीती 28 अगस्त की शाम सराफा कारोबारियों को गोली मारकर लूट करने के मामले पुलिस ने वारदात में चौकाने वाला खुलासा कर दिया. एएसपी साउथ मनोज कुमार पाण्डेय ने बताया कि लूट की घटना फर्जी थी और गोली मरवाना भी झूठी थी. उस दिन दोनों दुकान बंद करके घर जा रहे थे और दोनों की बाइक वहां गिर गई और जख्मी हो गए. दोनों भागकर अपने गांव के प्रधान के पास पंहुचा और बताया कि कुछ लोग प्लेटिना बाइक से थे और फायर करके भाग निकले.

बता दें कि लखनऊ-सुल्तानपुर हाइ-वे पर लूट और गोली चलने की घटना बड़ी थी. इसलिए मौके पर तत्काल ही पुलिस के आला अधिकारी घटनास्थल पर पंहुचे और जांच पड़ताल की. उसी दिन से घटना में संदेह जताया कि घटना निश्चित ही झूठी है और इसमे कुछ और तथ्य ही उसके लिए कोतवाल हैदरगढ़ के नेतृत्व में पुलिस टीम को गठित किया और शीघ्रता से खुलासा करने की जिम्मेदारी दी.

जिले के हैदरगढ़ थानाक्षेत्र के ग्राम लाही निवासी सराफा कारोबार से जुड़े दिलीप कुमार सोनी पुत्र ठाकुर प्रसाद और दिलीप का सगा भाई दीपक कुमार सोनी दोनों दुकान में साथ रहकर काम करते थे. 28 अगस्त की शाम दुकान बंद करके दोनों अपने घर जा रहे थे. गांव के बाहर उनकी मोटर बाइक अनियंत्रित होकर वहीं पर गिर गई. वहां पर पड़े एक कटीले तार की चपेट मे आकर जख्मी हो गया और भाई दिलीप भागकर लाही गांव के प्रधान के पास पंहुचा. उन्होंने कहा कि हम लोगों के ऊपर बाइक सवार तीन अज्ञात लूटेरों ने फायरिंग कर दी और भाई के हाथ से बैग छीनकर भाग गए.

इस सूचना पर पुलिस के होश उड़ गए और आनन फानन में पुलिस के आला अधिकारी घटनास्थल पर पंहुचे और सीओ हैदरगढ़ नवीन कुमार सिंह और एएसपी मनोज कुमार पाण्डेय स्वयं ही शुरू से आखिरी तक वारदात पर नजर बनाए रहे. कोतवाल हैदरगढ़ को शीघ्र खुलासे की जिम्मेदारी दी और मंगलवार को पुलिस ने सम्बंधित धाराओं में बढ़ोत्तरी करके दिलीप सोनी व उसके सहयोगी भाई दीपक सोनी को गिरफ्तार करके जेल भेज रही है.