नई दिल्ली:  पश्चिम बंगाल के मुख्य सचिव अल्पन बंदोपाध्याय को दिल्ली ट्रांसफर कर दिया गया है. कार्मिक और प्रशिक्षण विभाग (डीओपीटी) ने पश्चिम बंगाल सरकार को पत्र भेजकर कहा है कि बंदोपाध्याय को कार्यमुक्त किया जाए. पत्र के मुताबिक, उन्हें 31 मई तक दिल्ली में विभाग को रिपोर्ट करना होगा.

मुख्य सचिव बंदोपाध्याय का तबादला

केंद्र ने यह कदम ऐसे समय में उठाया है जब शुक्रवार को पीएम मोदी और मुख्यमंत्री ममता बनर्जी की बैठक को लेकर विवाद खड़ा हो गया था. न्यूज़ एजेंसी एएनआई के मुताबिक, चक्रवात यास को लेकर आयोजित पीएम मोदी की बैठक में सीएम ममता बनर्जी करीब आधे घंटे देरी से पहुंचीं. कुछ देर बैठक में रुकने के बाद ममता बनर्जी चक्रवात प्रभावित इलाकों के सर्वेक्षण के लिए निकल गईं. इस दौरान मुख्य सचिव अल्पन बंदोपाध्याय भी मौजूद थे.

20,000 करोड़ रुपये के पैकेज की मांग

पीएम मोदी के साथ बैठक के बाद सीएम ममता बनर्जी ने कहा कि चक्रवात ‘यास’ के कारण राज्य को हुए नुकसान पर प्रधानमंत्री को एक रिपोर्ट सौंपी है. अधिकारियों ने बताया कि प्रभावित इलाकों के पुनर्विकास के लिए 20,000 करोड़ रुपये के पैकेज की मांग की है.

अधिकारियों ने बताया कि मुख्य सचिव अल्पन बंदोपाध्याय के साथ मुख्यमंत्री ने हिंगलगंज, हसनाबाद, संदेशखली, पिनाखा और जिले के अन्य इलाकों में चक्रवात के बाद की स्थिति का जायजा लिया.

पूर्वी मेदिनीपुर, दक्षिण एवं उत्तर 24 परगना जिलों में कई इलाके चक्रवात ‘यास’ से प्रभावित हैं. चक्रवात ‘यास’ बुधवार सुबह पड़ोसी ओडिशा के तट से टकराया था. इसके चलते इन जिलों में कई जगहों पर भारी बारिश हुई और तेज चक्रवाती तूफान आये.

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