Yoga in Rishikesh: आज की भागदौड़ भरी जिंदगी में तनाव हर किसी की समस्या बन गया है, लेकिन इसका समाधान भी प्रकृति की गोद में छिपा है. उत्तराखंड के ऋषिकेश में कपाल भात स्थित योग आश्रम तनाव मुक्ति और मानसिक शांति के लिए किसी वरदान से कम नहीं माने जाते. यहां आने वाले लोग सात से इक्कीस दिनों तक चलने वाले ध्यान और योग कार्यक्रमों में हिस्सा लेते हैं और जीवन में गहरे परिवर्तन का अनुभव करते हैं.

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Yoga in Rishikesh

Yoga in Rishikesh

योग और ध्यान का विशेष महत्व (Yoga in Rishikesh)

इन आश्रमों में प्राणायाम, हठ योग, ध्यान सत्र और दर्शनशास्त्र की कक्षाएं आयोजित होती हैं. माना जाता है कि कम से कम सात दिन का प्रवास तनाव कम करने में सहायक होता है, जबकि 14 या 21 दिन का रिट्रीट मन और आत्मा को गहराई से संतुलित कर देता है. यहां का वातावरण आध्यात्मिक शांति से भरपूर होता है, जो हर आगंतुक को सकारात्मक ऊर्जा से ओतप्रोत करता है.

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ऋषिकेश के प्रमुख योग केंद्र और स्थल (Yoga in Rishikesh)

परमार्थ निकेतन आश्रम, जिसकी स्थापना 1942 में हुई थी, धार्मिक और योग गतिविधियों के लिए विशेष रूप से मशहूर है. वहीं, बीटल्स आश्रम यानी चौरासी कुटिया 1960 के दशक से ही विदेशी पर्यटकों और योग प्रेमियों का आकर्षण बना हुआ है. इसी आश्रम में विश्वविख्यात बीटल्स बैंड ने ध्यान साधना की थी. योग निकेतन आश्रम, 1964 में स्थापित, हिमालयी परंपरा का जीवंत केंद्र है, जो दशकों से लोगों को योग और अध्यात्म की राह दिखा रहा है. इसके अलावा नीम बीच और साई घाट भी योग और ध्यान के लिए लोकप्रिय स्थान हैं. नीम बीच प्राकृतिक सुंदरता और राफ्टिंग के लिए प्रसिद्ध है, जबकि साई घाट पर सुबह-शाम गंगा आरती के बीच साधक ध्यान में लीन होते हैं.

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