रोहित कश्यप, मुंगेली. मुख्यमंत्री भूपेश बघेल की मंशानुरूप शिक्षित बेरोजगार युवाओं को रोजगार से जोड़ने हेतु लगातार प्रयास किया जा रहा है. इसी कड़ी में कलेक्टर राहुल देव के मागदर्शन में संचालित ‘‘सशक्त युवा सशक्त मुंगेली’’ अभियान के अंतर्गत ऑनलाइन आकांक्षा प्लेटफॉर्म के माध्यम से 14 निजी कम्पनियों के लिए जिले के 206 युवाओं का चयन किया गया. इन चयनित युवाओं को जनप्रतिनिधियों एवं कलेक्टर राहुल देव ने नियुक्ति पत्र प्रदान कर उनके उज्ज्वल भविष्य की कामना की.

बता दें कि, आकांक्षा प्लेटफार्म के माध्यम से जिले में अब तक 333 युवाओं को रोजगार दिया गया है. कलेक्टर ने कहा कि, मुख्यमंत्री बघेल की सोच है कि युवाओं के हाथ में रोजगार हो. इसी को दृष्टिगत रखते हुए जिले में आकांक्षा प्लेटफार्म की शुरूआत की गई है. इस प्लेटफार्म के माध्यम से युवा और निजी निवेशक उपस्थित होते हैं. इनमें जिला प्रशासन केवल सेतु का काम कर रहा है.

आगे उन्होंने कहा कि, शिक्षित बेरोजगार युवाओं को जीवन में पहली नौकरी का मौका मिला है. इसके लिए उन्होंने विभिन्न कम्पनियों के लिए चयनित युवाओं से कहा कि, आज के दौर में नौकरी प्राप्त करना कठिन काम है. लेकिन आकांक्षा प्लेटफार्म के माध्यम से जिले में अब तक 333 युवाओं ने विभिन्न कम्पनियों में नौकरी प्राप्त की है. उन्होंने कहा कि, जब तक कोई अच्छी अन्य नौकरी न मिले, तब तक इस नौकरी को छोड़ने की कोशिश नहीं की जानी चाहिए. जिसके पास नौकरी होती है, उसका परिवार का समाज में प्रतिष्ठा बढ़ जाती है.

जेईई, आईआईटी, नीट के लिए आवासीय प्रशिक्षण प्रारंभ

जिले में कक्षा 11वीं और 12वीं में अध्ययनरत बच्चों के लिए आईआईटी ,जेईई और नीट प्रवेश परीक्षा की तैयारी हेतु आवासीय कोचिंग क्लास जिला लाइवलीहुड काॅलेज जमकोर में प्रारंभ हो गया है. कोचिंग के लिए 2 हजार से अधिक बच्चों का टेस्ट लिया गया. टेस्ट के माध्यम से जो बच्चे टाॅप स्थान हासिल किए हैं, उन बच्चों को ही प्रवेश दिया गया है.

कलेक्टर राहुल देव ने इस प्रशिक्षण का शुभारंभ करते हुए कहा कि, मुख्यमंत्री भूपेश बघेल की मंशा के अनुरूप जिले के बच्चों को मेडिकल और इंजीनयरिंग के क्षेत्र में आगे लाने का सतत प्रयास किया जा रहा है. इसी कड़ी में कक्षा 11वीं और 12वीं में अध्ययनरत बच्चों के लिए जेईई और नीट प्रवेश परीक्षा की तैयारी हेतु आवासीय कोचिंग क्लास जिला लाईवलीहुड काॅलेज जमकोर में प्रारंभ की गई है. उन्होंने कहा कि, संसाधन और आर्थिक समस्या की वजह से कई होनहार बच्चे मेडिकल एवं इंजीनयरिंग के क्षेत्र में नहीं पहुंच पाते हैं. ऐसे विद्यार्थियों के लिए जिला प्रशासन द्वारा कोचिंग की शुरूआत की गई है. कोचिंग के लिए चयनित बच्चों को एक्सपर्ट टीचर द्वारा प्रशिक्षण दी जाएगी. उन्होंने चयनित बच्चों को शुभकामना देते हुए उम्मीद जताई है कि जिले से अधिक से अधिक बच्चों का चयन मेडिकल एवं इंजीनयरिंग के क्षेत्र में होगा और अपने परिवार के साथ समाज, राज्य और देश का नाम रोशन करेंगे. इस अवसर पर पुलिस अधीक्षक शल चन्द्रमोहन सिंह ने भी कार्यक्रम को संबोधित किया और बच्चों को प्रेरित करते हुए शुभकामनाएं दी.