मथुरा। उत्तर प्रदेश के मथुरा स्थित श्री बांके बिहारी मंदिर से जुड़े न्यास गठन और प्रस्तावित कॉरिडोर निर्माण को लेकर लगातार बढ़ रहे असंतोष के बीच प्रशासन ने एक बार फिर सामंजस्य बैठाने की कोशिशें तेज कर दी हैं। सोमवार को प्रशासन के वरिष्ठ अधिकारियों ने वृंदावन के व्यापारी वर्ग और स्थानीय जनप्रतिनिधियों के साथ बैठक कर उनकी राय जानी और सुझाव आमंत्रित किए।
मंडलायुक्त-डीआईजी बैठक में रहे मौजूद
बैठक टूरिस्ट फैसिलिटी सेंटर में आयोजित की गई, जिसमें मंडलायुक्त शैलेन्द्र कुमार सिंह, डीआईजी शैलेश कुमार पांडेय, जिलाधिकारी चंद्रप्रकाश सिंह, एसएसपी श्लोक कुमार, नगर आयुक्त जग प्रवेश सिंह एवं एमवीडीए के उपाध्यक्ष एसबी सिंह सहित कई अधिकारी मौजूद रहे।
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समग्र विकास की दिशा में महत्वपूर्ण पहल
अधिकारियों ने बैठक के दौरान डिजिटल प्रजेंटेशन के माध्यम से प्रस्तावित कॉरिडोर की सुविधाओं और संभावित लाभों की जानकारी दी। इसके साथ ही यह भी स्पष्ट किया कि सरकार का उद्देश्य किसी का अहित करना नहीं है, बल्कि ब्रज क्षेत्र के समग्र विकास की दिशा में यह एक महत्वपूर्ण पहल है।
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वृंदावन की पारंपरिक पहचान
वहीं, व्यापारी वर्ग और गोस्वामी समाज के प्रतिनिधियों ने इस परियोजना को वृंदावन की पारंपरिक पहचान और स्थानीय हितों के प्रतिकूल बताते हुए अपनी आशंकाएं व्यक्त कीं। व्यापारियों का कहना है कि यह योजना धार्मिक और सांस्कृतिक भावनाओं को आहत कर सकती है।
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प्रशासन ने भरोसा दिलाया कि किसी भी कार्य को बिना जन सहभागिता और आपसी सामंजस्य के आगे नहीं बढ़ाया जाएगा। शासन जन भावनाओं का सम्मान करता है और विकास की किसी भी योजना में स्थानीय लोगों की सहभागिता अनिवार्य मानी जा रही है।
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