अमृतांशी जोशी,इंदौर। मध्यप्रदेश के इंदौर जिले में 17वें प्रवासी भारतीय सम्मेलन (Pravasi Bhartiya Sammelan in Indore) का आज दूसरा दिन है. जिसमें पीएम मोदी (PM Modi in Indore) भी शामिल होने पहुंचे हैं. मोदी-मोदी के नारे के साथ उनका स्वागत किया गया. प्रधानमंत्री ने सुरक्षित जाए प्रक्षिक्षित जाए का पोस्टल स्टाम्प लॉंच किया. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने संबोधन के दौरान पूरा हॉल मोदी मोदी के नारों से गूंज उठा. मोदी ने इंदौर के ब्रिलियंट कन्वेंशन सेंटर में 17वें प्रवासी भारतीय दिवस सम्मेलन का शुभारंभ किया.
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (PM Modi) ने संबोधन में कहा कि आप सभी को 2023 की मंगलकामनाएं. 4 साल के बाद यह सम्मेलन एक बार अपने मूल स्वरूप और भव्यता के साथ हो रहा है. मैं 130 करोड़ भारतवासियों की ओर से स्वागत करता हूँ. हर प्रवासी देश की माटी को नमन करने आया हूं. ये सम्मेलन देश की हृदय क्षेत्र है. अपनों से आमने-सामने की मुलाकात, बात का अलग आनंद और महत्व होता है. NRI को कहा कि एमपी में मां नर्मदा का जल, जंगल, आदिवासी परंपरा यहां बहुत कुछ है जो आपकी यात्रा को अविश्वमरणी बनाएगा. उज्जैन में भी भव्य महाकाल लोक का विस्तार हुआ है. आप सभी वहां जाएं और महाकाल का आशीर्वाद लें.
पीएम मोदी ने इंदौर की तारीफ की. उन्होंने कहा कि इंदौर भी अद्भुत है. लोग कहते हैं कि इंदौर एक शहर है, लेकिन मैं कहता हूं कि इंदौर एक दौर है. ये वो दौर है, जो समय से आगे चलता है, फिर भी विरासत को समेटे रहता है. इंदौर पूरी दुनिया में लाजवाब है. इंदौरी नमकीन का स्वाद, साबुदाने की खिचड़ी, कचौरी, समोसे, शिकंजी … जिसने भी इसे देखा उसके मुंह का पानी नहीं उतरा. जिसने इसे चखा, उसने कहीं और मुड़कर नहीं देखा. 56 दुकान तो प्रसिद्ध है ही, सराफा भी महत्वपूर्ण है. यही वजह है कि लोग इंदौर को स्वच्छता के साथ स्वाद की राजधानी भी कहते हैं. यहां के अनुभव आप खुद भी नहीं भूलेंगे और दूसरों को भी अपने देश जाकर बताना नहीं भूलेंगे.
करोड़ों प्रवासी को जब हम ग्लोबल मैप पर देखते है, तो कई तस्वीरें आते है, तो वासुदेव कुटुम्बकम की भावना उसके साक्षात दर्शन कराती है. दूसरे देशों में भारत के अलग-अलग क्षेत्रों के लोग मिलते हैं, तो एक-भारत, श्रेष्ठ भारत का अहसास होता है. दुनिया में जब सबसे अनुशासित और शांतिप्रिय लोगों की चर्चा होती है, तो मदर ऑफ डेमोक्रेसी का गौरव बढ़ जाता है. जब हमारा विश्व आकलन करता है, तो सशक्त और समर्थ भारत की आवाज सुनाई देती है. इसीलिए मैं सभी प्रवासी भारतीयों को विदेशी धरती पर भारत का राष्ट्रदूत यानी ब्रैंड एम्बेसडर कहता हूं.
भारत ने जो विकास की गति प्राप्त की है वो असाधारण है. भारत ने ख़ुद स्वदेश वैक्सीन बनाई, मुफ़्त वैक्सीन लगाई. टॉप पाँच इकॉनमी में भारत शामिल है. भारत ने ये सब किया, लोग मचल जाते है जानने के लिए की भारत ऐसा कर कैसे रहा है. दुनिया क्यूरियस है. हमारे यहां कहा जाता है कि स्वदेशो भुवन प्रयम, अर्थात हमारे लिए पूरा संसार ही हमारा देश है. इसी वैचारिक बुनियाद पर हमारे पूर्वजों ने भारत के सांस्कृतिक विस्तार को आकार दिया था.
हम दुनिया के अलग-अलग कोनों में गए. हमने सदियों पहले वैश्विक व्यापार की बुनियाद खड़ी की थी. हम विदेश गए अलग-अलग देशों अलग-अलग सभ्यताओं के बीच वैश्विक व्यापार से कैसे समृद्धि के रास्ते खोल सकते हैं. भारत ने और भारतीयों ने करके दिखाया. आज अपने करोड़ों प्रवासी भारतीयों को जब हम ग्लोबल मैप पर देखते हैं तो कई तस्वीरें एक साथ उभरती हैं.
भारत इतनी तेज़ी से बढ़ रहा है. आने वाले दिनों में भारत की ताकत और बढ़ने वाली है. इस साल भारत दुनिया के जी-20 समूह की अध्यक्षता भी कर रहा है. भारत इस जिम्मेदारी को एक बड़े अवसर के रूप में देख रहा है. हमारे लिए यह दुनिया को भारत के बारे में बताने का अवसर है कि ये दुनिया के लिए भारत के अनुभवों से सीखने का अवसर है. हमें जी-20 केवल एक डिप्लोमेटिक इवेंट नहीं, बल्कि जनभागीदारी का आयोजन बनाना है.
भारत के पास सक्षम युवाओं की बड़ी ताकत है. कई देशों में प्रवासी बसे है. उन्होंने वहाँ के निर्माण के किए काम किया है. मैं चाहता हूँ कि हम इनके काम को तवज्जो दे सहेज कर रखे. जिन सुझावों को राष्ट्रपति ने रखा है. मैं उन पर विचार करूँगा.
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