राजकुमार दुबे. भानुप्रतापपुर. इलाके में एक आदिवासी किसान की मौत का मामला सुर्खियों में है. चंद दिनों पहले ही कन्हैया गावड़े नाम के इस आदिवासी किसान की लाश एक झोपड़ी में मिली थी, लेकिन अब उनके बैंक खाते से 30 लाख रुपए के ट्रांजेक्शन ने इस पूरा घटना को नया मोड़ दे दिया है.
भानुप्रतापपुर में आदिवासी किसान की मौत का मामला गरमा रहा है. पिछले दिनों मृतक किसान कन्हैया गावड़े का शव भानुप्रतापपुर रेलवे स्टेशन के पास झोपड़ी में मिला था. इसके बाद से ही इस की मौत पर संदेह है. हालांकि पुलिस के अधिकारियों ने जांच कर कहा कि सामान्य मौत थी और इसमें किसी तरह की शंका की बात नहीं थी. परंतु मृतक गावड़े से जुड़े लोगों का कहना है कि यह संपत्ति विवाद का मामला हो सकता है, क्योंकि दो-तीन माह पूर्व ही मृतक की कन्हैया गावडे ने अपनी जमीन को लगभग 35 लाख रुपए में बेचा उसके बाद फरवरी माह में उसके खाते से पंजाब नेशनल बैंक की शाखा से 5 दिनों के अंदर ही 30 लाख रुपए निकाले गए. खाते की जांच करने पर पता चला कि 10 लाख रुपए उसके दामाद ने एवं 15 लाख रुपए अलग-अलग व्यापारियों के खाते में गए.
मृतक के बेटे ने भी अपने पिता की मौत को हत्या बताया है. जबकि प्रशासन से जुड़े व्यक्ति यह कहते हैं कि मामले में संदिग्ध कुछ भी नहीं है. क्योंकि मृतक की मौत सामान्य परिस्थितियों में हुई है. उसकी घटना के बाद फॉरेंसिक जांच भी कराई गई थी एवं नियम अनुसार पोस्टमार्टम भी कराया गया था.
वहीं पंजाब नेशनल बैंक के अधिकारी कहते हैं कि उक्त चेक पर कन्हैया गावड़े ने हस्ताक्षर कर चेक जारी किए थे जिसके अनुसार विधिवत भुगतान दिया. हालांकि बड़ा सवाल यह है कि 10 लाख रुपए की रकम मृतक ने जिस स्थानीय व्यवसायी को दी उस व्यवसायी ने उसे छड़ सीमेंट देना बताया जबकि जबकि मृतक की मौत एक झोपड़ी में हुई.
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