गरियाबन्द. घर में रखे धान के ढेर को किसान पहले खुद का बताते रहे, रकबे व खेत मे खड़ी फसल का मिलान किया तो पोल खुलते देख बता दिया कि ओड़िसा से लाया गया है धान, जांच टीम ने 15 घण्टे में 8 लाख से ज्यादा कीमती 1096 बोरी धान जब्त किया. किसानों ने कबूला पिकअप के अलावा बैल गाड़ी व बाइक से ओड़िसा पार से लाया गया है धान.
कड़ाई के बावजूद पैंतरे बदल कर ओड़िसा सीमा पार से हमारे इलाके में धान डंप किया जा रहा है ‘लल्लूराम’ ने बीचौलिए के पैतरों का लगातार खुलासा कर रही थी. इन डंप धान को पकड़ने पुलिस व राजस्व की टीम ने एसडीएम सूरज साहू व थाना प्रभारी विकास बघेल के नेतृत्व में गुरुवार की रात 11 बजे से अभियान चलाया. कालाहाण्डी सीमा से लगे चिन्हाकित 4 गांव में दबिश दिया गया. पड़ताल शुक्रवार के दोपहर 2 बजे तक चली. इस दरम्यान लगभग 8 लाख कीमती 1096 पैकेट धान प्रशासन ने जब्त किया. जिन मकानों में डंप किया गया था उसे सील कर दिया है. अभियान में तहसीलादार समीर शर्मा, नायब तहसीलदार अभिषेक अग्रवाल के अलावा पुलिस विभाग के कर्मी मौजूद रहे.
पिकअप के अलावा बैल गाड़ी व बाइक से लाया गया ओड़िसा का धान
गुरुवार की रात हुई छापेमारी में खोखसरा के दीपक आडील के घर से 120 पैकेट अवैध धान जब्त किया गया. इसने बताया कि बैलगाड़ी के जरिये 9 ट्रिप धान इसने लेकर आया है, देर रात चेक पोस्ट में तैनात कर्मी सो जाते थे तब इसने 5 से 6 दिनों में यह धान एकत्र किया.
सुपेबेडा के सुंदर नागेश के घर से 100 बोरा अवैध धान जप्ती किया गया. लिखित बयान में टीम के सामने इसने कबूल किया कि बाइक से 40 बोरा व पिकअप से 60 बोरी धान एक नामचीन बिचौलिए से मंगवाया. उसे 1400 रुपये क्विंटल के हिसाब से सप्ताह भर पहले दिया था. ठीरलीगुडा में जप्त 250 बोरी धान की वास्तविकता जांचने पटवारी को निर्देशित किया गया है.
सम्बंधो का नाजायज फायदा उठाने बीपीएल परिवार के घर बीचौलिए ने डंप कराया धान
आज सुबह उपरपीठा में हुए छापेमारी में यह भी खुलासा हुआ है कि बिचौलिए न केवल दूसरो को धान बेचते है, बल्कि अपने सगे सम्बंधों का फॉयदा उठाकर उन रकबो के ऋण पुस्तिका का भी इस्तेमाल करते हैं, जो धान बगैर बोए पंजीयन करवाते है. यंहा रहने वाले पदुराम ने तहसीलदार को दर्ज कराए गए बयान में बताया कि निष्टि गुडा निवासी चैतराम उर्फ केंदु द्वारा 15 दिन पहले 50 पैकेट धान रखा गया है.
वो धान कमातानही लेकिन सम्बन्धो के चलते चैतराम द्वारा इसके रकबे का इस्तेमाल करता है,धान बेचने के बाद खर्च के लिए कुछ दे देता है. इसी तरह चैतराम ने टिकचन्द के पीएम आवास में 100 बोरी,तुलशाय बाई के घर 206 बोरी रखा गया. अग्निसिंह के घर से 150 बोरी जब्त किये गए धान झाखरपारा से खरीदी किया जाना बताया गया है.
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