रायपुर। छत्तीसगढ़ में वन्य प्राणियों की तस्करी मामले में एक बड़ा खुलासा हुआ है. बारनवापारा अभ्यारण्य में चीतल मारने के आरोप में एक युवक की गिरफ्तारी के बाद ये खुलासा हुआ है. वन विभाग को पता चला है कि तस्करी में वन विकास निगम का कर्मचारी भी संलिप्त है. जिस कर्मचारी की संलिप्ता सामने आई है उसका नाम जावेद फारूकी है.

दरअसल 7 दिसंबर की रात वन विभाग की गश्ती टीम ने अभ्यारण्य के देवपुर परिक्षेत्र में चीतल मारने वाले एक आरोपी को मौके गिरफ्तार किया. वहीं उनके तीन अन्य साथी फरार हो गए. फरार आरोपियों की तलाश पुलिस की मदद से जारी है. पकड़े गए आरोपी का नाम नरेन्द्र पटेल है. घटना स्थल से दो चीतल के शव भी बरामद किए. वहीं इस मामले में यह भी पता चला कि वन विकास निगम का कर्मचारी जावेद भी इस में शामिल है.

सहायक प्रधान मुख्य वन संरक्षक अरूण पाण्डेय ने बताया कि सात दिसम्बर की रात्रि एक वाहन कार क्रमांक-सी.जी.-06 जी.पी. 8910 संदिग्ध अवस्था में हरदी बीट के समीप बार से पकरीद मार्ग में देखा गया. रात्रि गश्त के दल द्वारा इसका परीक्षण करने पर दो मृत चीतल को कार की डिक्की में मारकर रखना पाया गया. इसके अलावा एक नर चीतल घटना स्थल पर मृत पाया गया. इसे जब्त कर वन्यप्राणी संरक्षण अधिनियम के तहत कार्रवाई की जा रही है. रात्रि गश्त के दल में बारनवापारा तथा देवपुर वन परिक्षेत्रों के अधिकारी एवं कर्मचारियों .एस. मिश्रा, श्री कृषाणु चन्द्राकर, पी.के. सिन्हा, श्री मो. माबिया खान, सालिक राम डड़सेना आदि का आरोपी को पकड़ने में सक्रिय सहयोग रहा.