रायपुर। भाजपा नेता द्वारा झीरम मामले में न्यायिक आयोग के सामने मंत्री कवाली लखमा के नार्को टेस्ट कराए जाने की मांग का मामले ने सूबे की सियासत एक बार फिर गरमा दिया है. एक बार फिर प्रियदर्शनी बैंक घोटाले का जिन्न निकलकर सामने आ गया है. कांग्रेस ने प्रियदर्शिनी बैंक घोटाला मामले में मुख्य आरोपी उमेश सिन्हा के नार्को टेस्ट को लेकर भाजपा से सवाल किया है. साथ ही सरकार से उमेश सिन्हा के नार्को टेस्ट की सीडी को अदालत में पेश कर मामले में जांच आगे बढ़ाए जाने की मांग की है.

कांग्रेस मीडिया विभाग के अध्यक्ष शैलेष नितिन त्रिवेदी ने राजीव भवन में आयोजित प्रेसवार्ता में झीरम मामले में सीएम भूपेश बघेल और मंत्री कवासी लखमा द्वारा भाजपा को दिये गए जवाब का स्वागत करते हुए समर्थन किया है. शैलेश नितिन ने भाजपा के ऊपर तीखा हमला बोलते हुए एक के बाद एक कई सवाल किये.

उन्होंने कहा कि झीरम कांड पर नार्को टेस्ट की बात कर रही भाजपा पहले ये तो बताए, “प्रियदर्शिनी बैंक घोटाले के नार्को टेस्ट का क्या करें? क्यों इस नार्को टेस्ट की रिपोर्ट थाने से अदालत तक भाजपा के शासनकाल में नहीं पहुंचाया गया? क्यों पूर्व मुख्यमंत्री रमन सिंह ने आज तक जवाब नहीं दिया कि घोटाले के मुख्य अभियुक्त उमेश सिन्हा ने करोड़ रूपए देने की जो बात कही उसमें कितने सच्चाई है? रमन सिंह जी के मंत्रियों को करोड़ों रूपए घोटाले को दबाने के लिए दिए गए या वही घोटाला था? नार्को पर अगर भाजपा का इतना ही भरोसा है तो भाजपा पहले यह तो बता दे कि प्रियदर्शिनी बैंक घोटाले के नार्को टेस्ट का तो सच स्वीकार करती है या नहीं?

शैलेष नितिन ने कहा कि कांग्रेस पार्टी सरकार से अपील करती है कि वह इस नार्को टेस्ट की सीडी को तत्काल अदालत में पेश करके जांच को आगे बढ़ाए और भाजपा से अपील है कि वह जांच होने पर अपने कार्यकाल की जांच पर बदलापुर-बदलापुर कहकर कराहना और झूठी आहें भरना बंद करे.

आपको बता दें मामले में सीएम भूपेश बघेल ने झीरम की घटना के समय मुख्यमंत्री रमन सिंह सहित सरकार और पुलिस के जिम्मेदार लोगों के पहले नार्को टेस्ट कराने की बात कही थी. वहीं मंत्री कवासी लखमा ने भी खुद के साथ ही तत्कालीन मुख्यमंत्री रमन सिंह को भी नार्को टेस्ट कराने की चुनौती दी थी.

गौरतलब है कि प्रियदर्शनी बैंक घोटाले के मुख्य आरोपी उमेश सिन्हा का पुलिस ने नार्को टेस्ट कराया था. नार्को टेस्ट की सीडी बाहर आने के बाद सूबे की सियासत गरमा गई थी. कथित सीडी में तत्कालीन सरकार में महत्वपूर्ण पदों में काबिज कई सफेद पोश लोगों के ऊपर रकम लेन-देन के आरोप लगे थे. इस मामले को लेकर कांग्रेस लगातार भाजपा पर हमलावर रही है और विधानसभा चुनाव के समय भी आरोपी उमेश सिन्हा की कथित सीडी को जारी किया था.