दुर्ग। उपभोक्ता को परिपक्वता राशि का भुगतान समय पर नहीं करने के कृत्य को व्यवसायिक कदाचरण और सेवा में निम्नता मानते हुए जिला उपभोक्ता फोरम के सदस्य राजेन्द्र पाध्ये और लता चंद्राकर ने सहारा क्रेडिट कोऑपरेटिव सोसाइटी लिमिटेड के लखनऊ स्थित मुख्य कार्यालय के प्रबंधक, सुपेला भिलाई स्थित शाखा कार्यालय के प्रबंधक एवं एजेंट के खिलाफ आदेश पारित किया और तीनों पर 3 लाख 51 हजार रुपये हर्जाना लगाया है.

क्या है मामला

कैंप 1 भिलाई निवासी बंदना जायसवाल ने एजेंट के माध्यम से सहारा क्रेडिट कोऑपरेटिव सोसायटी लिमिटेड की “सहारा सी अनोखा पॉलिसी” में 11 अक्टूबर 2014 से प्रतिमाह 6000 रुपये जमा करना शुरू किया और 21 अगस्त 2018 तक कुल 264000 रुपये जमा करती रही, परिपक्वता पर उसे 330000 रुपये प्राप्त होने थे। परिपक्वता अवधि पश्चात उसने समस्त आवश्यक दस्तावेज भी जमा कराये लेकिन अनावेदकगण द्वारा लगातार बहाने बनाकर भुगतान के लिए घुमाया जाता रहा। परिवादिनी ने परेशान होकर अपने अधिवक्ता के माध्यम से रजिस्टर्ड नोटिस भी भिजवाई, इसके बाद भी उसे उसकी परिपक्वता राशि नहीं मिली। फोरम के समक्ष अनावेदकगण उपस्थित हुए परंतु उनकी ओर से कोई जवाब पेश नहीं किया गया।

फोरम का फैसला

प्रकरण में पेश दस्तावेजों के आधार पर जिला उपभोक्ता फोरम के सदस्य राजेन्द्र पाध्ये और लता चंद्राकर ने यह प्रमाणित पाया कि परिपक्वता के बाद भी अनावेदकगण ने परिवादिनी को उसकी परिपक्वता राशि का मय ब्याज भुगतान नहीं किया गया जो कि व्यवसायिक कदाचरण एवं सेवा में निम्नता की श्रेणी में आने वाला कृत्य है।

जिला उपभोक्ता फोरम के सदस्य राजेन्द्र पाध्ये और लता चंद्राकर ने कंपनी पर 3 लाख 51 हजार रुपये हर्जाना लगाया, जिसमें परिपक्वता राशि 330000 रुपये, मानसिक क्षतिपूर्ति के रूप में 20000 रुपये तथा वाद व्यय रु. 1000 अदा करने का आदेश दिया, उक्त राशि पर 7.50% वार्षिक दर से ब्याज भी देना होगा।