नई दिल्ली। दिल्ली उच्च न्यायालय ने मंगलवार को 20 वर्षीय दिलबर सिंह नेगी की मौत के मामले में 6 आरोपियों को जमानत दे दी. दिल्ली में हुए दंगे के बाद नेगी का शव क्षत-विक्षत हालत में पाया गया था. उसका शव फरवरी 2020 में उत्तर-पूर्वी क्षेत्र में हुई हिंसा के दौरान बरामद किया गया था. न्यायमूर्ति सुब्रमण्यम प्रसाद ने जिन आरोपियों को जमानत दी, उनमें मो. ताहिर, शाहरुख, मो. फैजल, मो. शोएब, राशिद और परवेज शामिल हैं, जिन पर इस महीने की शुरुआत में फैसला सुरक्षित रख लिया गया था.

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मामला दिलबर नेगी की मौत से जुड़ा है, जो अनिल मिठाई की दुकान पर काम करता था और वह लंच और आराम करने के लिए गोदाम गया था. 25 फरवरी की देर रात तक उसका पता नहीं चल सका था. 26 फरवरी 2020 की दोपहर में थाना गोकुलपुरी की स्थानीय पुलिस को अनिल स्वीट्स के गोदाम में एक पुरुष के शव की जानकारी हुई. शव जली हालत में मिला था और बाद में उसकी पहचान दिलबर नेगी के रूप में हुई. वह अपनी मृत्यु के छह महीने पहले उत्तराखंड से राजधानी शहर आया था.

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पुलिस के अनुसार, दंगा करने वाली भीड़ ने उस दुकान, एक किताब की दुकान, डीआरपी स्कूल और अनिल स्वीट्स के गोदाम समेत हिंदुओं की संपत्तियों को आग के हवाले कर दिया और वही दंगाइयों की भीड़ देर रात तक सक्रिय रही. 2020 में इस मामले में 12 आरोपियों के खिलाफ चार्जशीट दायर की गई थी.