शिवम मिश्रा, रायपुर. सोशल मीडिया पर बीते कुछ दिनों से एक पत्र वायरल हो रहा था, जिसमें छत्तीसगढ़ के मंत्री रामविचार नेताम (Minister Ram Vichar Netam) की शिकायत प्रधानमंत्री मोदी (PM Narendra Modi) से की गई थी. इस पत्र को हिंदू जनजागृति समिति के राज्य समन्वयक सुनील धनवट के नाम से जारी किया जाना दर्शाया गया. लेकिन अब इस वायरल पत्र का पूरा सच सामने आ चुका है. खुद सुनील धनवट ने प्रेस कॉन्फ्रेंस कर पत्र को फर्जी करार दिया और इसे आरएसएस और भाजपा के खिलाफ षड्यंत्र बताया.

सभी चीज पूरे तरीके से फर्जी : राज्य समन्वयक सुनील धनवट

हिंदू जनजागृति समिति के राज्य समन्वयक सुनील धनवट ने कहा कि राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ और हिंदू जनजागृति समिति न सिर्फ देश बल्कि विश्वस्तरीय कार्य करती है. हमारा काम हिंदू राष्ट्र के प्रति समर्पित और हिंदू राष्ट्र बनने के लिए कार्य करना है. लेकिन अब ऐसे संगठनों को बदनाम करने का प्रयास किया जा रहा है. लव जिहाद, धर्म परिवर्तन, गौ हत्या और तस्करी समेत कई अलग-अलग मुद्दों पर हम कार्य कर रहे हैं. हमारे नाम से फर्जी लेटर हेड जारी किया गया है. हम हिंदू जनजागृति समिति, आरएसएस और हिंदूवादी संगठन सब एक साथ एकजुट होकर कार्य करते है. लेकिन हमारे बीच मन-मुटाव लाने के लिए ऐसे षड्यंत्र किए जा रहे हैं.
उन्होंने कहा कि राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ महाराष्ट्र प्रदेश के नाम से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को प्रदेश के मंत्रियों के नाम पर षड्यंत्रपूर्वक झूठी शिकायत भेजी गई थी. इस शिकायत में छत्तीसगढ़ के मंत्री रामविचार नेताम के खिलाफ गंभीर आरोप लगाते हुए शिकायत की गई थी. उन्होंने बताया कि इस फर्जी पत्र में मुझे प्रांत संघचालक बताया गया. सभी चीज पूरे तरीके से फर्जी है.
आरएसएस और भाजपा को बदनाम करने की साजिश
हिंदू जनजागृति समिति के राज्य समन्वयक सुनील धनवट ने कहा कि फर्जी लेटर के माध्यम से न केवल आरएसएस बल्कि भाजपा को भी बदनाम करने की साजिश की गई है. इस संबंध में वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक से मुलाकात कर शिकायत सौंपी गई और ऐसे लोगों के खिलाफ जांच कर कड़ी कार्रवाई की मांग की है. सुनील धनवट ने बताया कि संघ में उनका कोई दायित्व नहीं है, फिर भी उनके नाम पर वहां झूठा पद बताया जा रहा है. आरएसएस के साथ भाजपा को भी बदनाम करने की साजिश की गई है.
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