रायपुर। छत्तीसगढ़ में शुक्रवार को हुए किसान आंदोलन का मिला-जुला रूप देखने को मिला। कहीं आंदोलन सफल तो कहीं औसत तो कहीं असफल भी रहा। किसान मजदूर महासंघ के बैनर तले 31 किसान संगठनों ने आंदोलन में हिस्सा लिया। किसान समर्थन मूल्य, धान बोनस सहित कई मांगों को लेकर प्रदेश भर में चक्का जाम किया। दोपहर 12 बजे से 3 बजे तक लगभग तीन घंटे किसान सड़क पर डटे रहे। किसानों के आंदोलन को कांग्रेस, जनता कांग्रेस छत्तीसगढ़, आम-आदमी पार्टी, सीपीआई सहित कई राजनैतिक दलों ने अपना समर्थन दिया।

खुद पूर्व मुख्यमंत्री अजीत जोगी राजधानी के छेरीखेड़ी में डेढ़ घंटे तक किसानों के साथ सड़क में डटे रहे। दुर्ग, राजिम, बिलासपुर और राजनांदगांव में पुलिस ने बड़ी संख्या में आंदोलन कर रहे किसानों को गिरफ्तार कर देर शाम उन्हें रिहा भी कर दिया। आंदोलन को देखते हुए प्रदेश भर में पुलिस और जिला प्रशासन को अलर्ट किया गया था। लगभग सभी जिलों में बड़ी संख्या में पुलिस बल को तैनात किया गया था। किसान मजदूर महासंघ के अनुसार 25 जिलों में किसानों ने आंदोलन किया।

किसान नेताओं ने मुख्यमंत्री डॉ रमन सिंह और कृषि मंत्री बृजमोहन अग्रवाल के ऊपर संवेदन हीनता का आरोप लगाया है कि उन्होंने कहा कि वे किसानों से बात करने की छत्तीसगढ़ से बाहर चले गए हैं। इसके साथ ही उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री  किसानों से चर्चा की बात करते हैं लेकिन उन्होंने कभी किसी किसान नेता को चर्चा के लिए आमंत्रित नहीं किया।

रायपुर के अलावा दुर्ग जिले में गुंडरदेही दुर्ग, कुम्हारी और पाटन में चक्का जाम किया गया । राजनांदगांव में चिचोला के पास 2000 किसानों ने चक्का जाम किया ।  बिलासपुर के संकरी पुलिस थाना के सामने जाम किया गया । इसके अलावा राजिम,  रायगढ़, डिलमिली जगदलपुर, प्रेमनगर सूरजपुर,  जांजगीर, कोरबा, बेमेतरा, गुंडरदेही, बालोद के डोंडीलोहारा, छावनी चौक भिलाई,  आदि स्थानों पर चक्का जाम बेहद सफल रहा ।

किसान मजदूर महासंघ के संयोजक संकेत ठाकुर ने एक प्रेस विज्ञप्ति जारी कर आ्रंदोलन का समर्थन करने के लिए सभी राजनैतिक दलों का आभार व्यक्त किया है। उन्होंने कहा कि आज के प्रदेशव्यापी चक्का जाम आंदोलन को सहयोग करने में भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस, छत्तीसगढ़ जनता कांग्रेस जोगी, आम आदमी पार्टी, सीपीएम एल आदि जिस तरह दलगत राजनीति से उठकर किसानों के आंदोलन को समर्थन दिया उसके लिये किसान महासंघ आभार व्यक्त करता है।

कहां-कहां कैसा रहा आंदोलन

रायपुर-  छेरीखेड़ी में किसान आंदोलन की कमान नई राजधानी किसान कल्याण समिति, आप किसान मोर्चा, संयुक्त किसान मोर्चा, किसान समन्वय समिति, छत्तीसगढ़ महिला अधिकार मंच नदी घाटी मोर्चा छत्तीसगढ़ बचाओ आंदोलन, छत्तीसगढ़ किसान महासभा छत्तीसगढ़ अभिकर्ता उपभोक्ता संघ, सहित 12 संगठनों के हाथ में रही ।
आज के किसान आंदोलन में छत्तीसगढ़ किसान मजदूर महासंघ के संयोजक मंडल के सदस्य द्वारिका साहू, रूपन चंद्राकर, डॉ संकेत ठाकुर, वीरेंद्र पांडे, पारस साहु, गौतम बंदोपाध्याय,उत्तम जायसवाल, रामरतन ढीढी, प्रवीण चंद्राकर, दुर्गा झा, वर्णिता सिंदुरिया, शारदा श्रीवास्तव, भानु चन्द्रा, श्रवण चंद्राकर, नन्दकुमार निषाद, वतन चंद्राकर आदि नेताओं ने किसानों को शांतिपूर्ण प्रदर्शन के लिये नेतृत्व प्रदान किया  ।

दुर्ग- जिले के 4 स्थानों पर किसानों ने चक्का जाम किया, चक्का जाम की वजह 15 मिनट तक बाधित रहा मार्ग, सैकड़ो की संख्या में  किसानों को गिरफ्तार किया गया , जिला प्रशासन ने प्रतिबंधित धाराओ के तहत किसानों को गिरफ्तार किया।

महासमुंद – तहसील चौक में 150 से ज्यादा किसानों ने धरना प्रदर्शन किया।

कुम्हारी- कुम्हारी में किसानों का आंदोलन ज्यादा असरकारी नजर नहीं आया। आसपास के गांव से 25 से 30 किसान ही आंदोलन में पहुंचे आंदोलन में। स्था

राजनांदगांव- राजनांदगांव में किसानों ने उग्र प्रदर्शन किया। चक्काजाम के दौरान किसानों की पुलिस से झूमाझटकी भी हुई। पुलिस ने सभी किसानों को गिरफ्तार किया।

 

जगदलपुर- छत्तीसगढ़ किसान मजदूर महासंघ के आह्वान पर डिलमिली में धरना प्रदर्शन कर नेशनल हाइवे 30 पर किसानों ने 3 घंटे तक चक्कजाम किया। पूर्व केंद्रीय मंत्री अरबिन्द नेताम भी धरना में शामिल हुए। बड़ी संख्या में पुलिस बल तैनात।