गरियाबंद। जिले में करोड़ो की संपत्ति अर्जित करने वाले सचिव के खिलाफ गरियाबंद जिला की महिला कांग्रेस कमेटी की जिला महामंत्री पुष्पा ध्रुव ने शिकायत की है. गरियाबंद पुष्पा ध्रुव ने आय से अधिक संपत्ति के मामले में मुख्यमंत्री भूपेश बघेल, जीएसटी मंत्री टीएस सिंहदेव और छत्तीसगढ़ एंटी करप्शन ब्यूरो को पत्र लिखकर जांच कराने के लिए मांग की है.

दरअसल, काशीराम साहू ग्राम नवाडीह (अमेठी) के रहने वाले हैं, जो 20 साल पहले ग्राम पंचायत सचिव के पद पर नियुक्त हुए थे. उनकी पत्नी झरना साहू करीब 4 से 5 वर्ष पूर्व आयुर्वेदिक औषधालय सेवक (संविदा) में नियुक्त की गई. काशीराम की सैलरी करीब 30,000 है. उनकी पत्नी की तनख्वाह करीब 10,000 है, लेकिन आज तक उन्होंने आय से अधिक संपत्ति अर्जित की है.

वर्तमान में काशी राम साहू वार्ड क्रमांक 13 नगर पंचायत छुरा में लगभग एक करोड़ की लागत से रहने के लिए मकान बनाया है. साथ ही ग्राम पंचायत लोहझर में लगभग 40 लाख की लागत मकान है. ग्राम ओनवा में कीमती जमीन है. इसके अलावा ग्राम अमेठी नवाडीही साजापाली जैसे जगह में कई करोड़ की संपत्ति बनाया है, जो कि सिर्फ पति-पत्नी के मासिक वेतन से इतनी बड़ी आय से अर्जित करना संभव ही नहीं होता, जिसकी जांच पड़ताल किया जाना अति आवश्यक हो गया है.

काशी राम साहू अभी फिलहाल ग्राम पंचायत बोड़ाबांधा में पदस्थ साथ ही दो या तीन पंचायत में अस्थाई रूप से प्रभार में रह कर शासन की महती योजनाओं की पैसों का बंदरबांट कर सरकार को चूना लगाने का काम किया जा रहा है.  शासन के पैसों से करोड़ों रुपये का अर्जित करना गलत है.

गरियाबंद जिले के आदिवासी ब्लॉक छुरा में कई ऐसे सरपंच जो कम पढ़े लिखे हैं. आरक्षण के अभाव में बन जाते हैं, जिसका फायदा सचिव के रूप में लगातार ले रहे हैं. कुछ सरपंचों से पता चला है कि छत्तीसगढ़ सरकार के महत्वकांक्षी योजना के तहत पंचायतों में ज्यादा से ज्यादा पैसा काम कराने के लिए आता है. जैसे ही सचिव को पैसा आने का पता लगता है, उस पंचायत में प्रभारी सचिव बन कर पैसा के खत्म होते तक वहां पर पदस्थ रहते हैं, जैसे ही पैसा खत्म होता है, दूसरे ग्राम पंचायत की ओर आगे बढ़ते हैं.

लगभग 20 सालों में छुरा ब्लॉक के कई ग्राम पंचायतों में घूम-घूम कर अस्थाई प्रभार के रूप में काम कर अपनी मकड़ जाल में सरपंचों को फंसा देते हैं. ग्राम पंचायत खैरझीटी में पंचायत सचिव रहते हुए अपने परिवार जनों जैसे अपने भाई भीखम साहू और अपनी पत्नी के खाते में वर्ष 2016-17 एवं 18 में स्टेट बैंक ऑफ इंडिया छुरा में 10 लाख निजी खाते में सरकारी राशि को ट्रांसफर किया है, जो कि जांच का विषय है.

काशी साहू उनकी पत्नी झरना साहू दोनों मिलकर कई ग्राम पंचायतों के विकास कार्य की राशि को भ्रष्टाचार कर आय से ज्यादा संपत्ति अर्जित कर अलग-अलग स्थानों पर निवेश कर रहे हैं. अपनी ससुराल वालों को भी मदद कर रहे हैं. उनके नाम से भी जमीन खरीदी बिक्री की गई है. इनकी संपत्ति की जांच किया जाना अति आवश्यक है.

पंचायत सचिव साहू एक जगह ज्यादा दिन नहीं रहते हैं, जहां पर निर्माण संबंधी कार्य पूरा होने पर अपना स्थानांतरण कराकर जहां ज्यादा राशि वाले पंचायत होते हैं, वहां पर से चले जाते हैं, जिससे प्रतीत होता है कि सिर्फ भ्रष्टाचार कर आय अर्जित करते रहना है और आय से अधिक ऐसे शासन के पैसे को चुना लगाने वालों के ऊपर कड़ी से कड़ी कार्रवाई के लिए आवेदन दिया गया है. अब देखना ये होगा कि ऐसे भ्रष्टाचार सचिव के ऊपर कब कार्रवाई होगी.

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