कर्ण मिश्रा,ग्वालियर। ग्वालियर में एमपी बोर्ड के संभागीय कार्यालय पर बुधवार को जबरदस्त हंगामा हुआ. कार्यालय में मौजूद रद्दी को लेकर आमंत्रित किए गए टेंडर को लेकर बखेड़ा खड़ा हो गया. टेंडर प्रक्रिया में शामिल होने के लिए पहुंचे रद्दी कारोबारियों ने आरोप लगाया है कि कार्यालय के बाहर ताला डालकर बंदूक की नोक पर कुछ लोगों ने टेंडर प्रक्रिया पूरी कराई है. जिसके चलते वह टेंडर से बाहर हो गए. मामले की शिकायत प्रभारी मंत्री तुलसी सिलावट से करने पहुंचे शिकायतकर्ताओं को जमीन पर बैठा देख वह भी सहज अंदाज में जमीन पर बैठ गए. फिर समस्या को सुनने के बाद कलेक्टर को निर्देश दिए. कलेक्टर ने टेंडर प्रक्रिया पर रोक लगा दी.
दरअसल माध्यमिक शिक्षा मंडल भोंपाल के ग्वालियर स्थित संभागीय कार्यालय की रद्दी टेंडर में गड़बड़ी की शिकायत लेकर आए कारोबारियों से बातचीत करने के लिए मंत्री सिलावट खुद जमीन पर ही बैठ गए. संभागीय कार्यालय में रद्दी खरीदी को लेकर बुधवार को टेंडर बुलाए गए थे. करीब 19 रद्दी खरीदार जब टेंडर डालने के लिए पटेल नगर स्थित माध्यमिक शिक्षा मंडल के कार्यालय पहुंचे तो वहां दोपहर 12:00 बजे से ही दफ्तर में ताला डाल दिया गया.
अंदर पहले से मौजूद 3 लोगों ने ही टेंडर डाले. जबकि आधा दर्जन से ज्यादा लोगों के टेंडर जमा हीं नहीं होने दिए गए. टेंडर जमा नहीं हुए तो इन लोगों ने अंदर मौजूद अधिकारियों से शिकायत की लेकिन अधिकारियों ने भी उनकी नहीं सुनी. साथ ही अंदर जो टेंडर डालने के लिए मौजूद लोगों के साथ आए हथियारबंद लोगों ने इनको डरा धमका कर भगा दिया. जब टेंडर नहीं डाला डाल पाए तो ये लोग एसपी के पास पहुंचे. एसपी ने तत्काल मौके पर पुलिस फोर्स भेजा. उसके बाद जब यह लोग दोबारा टेंडर डालने के लिए गए तब भी इन्हें टेंडर नहीं डालने दिया गया और हथियारों के दम पर धमकाते रहे.
इस दौरान वहां पहुंची पुलिस भी मूकदर्शक बनी रही. आखिर में दोपहर 2:30 बजे दफ्तर बंद कर दिया गया. काफी देर के इंतजार के बाद यह लोग कलेक्ट्रेट में प्रभारी मंत्री तुलसी सिलावट से मिलने के लिए पहुंचे. मंत्री सिलावट विकास कार्य बैठक लेकर जब बाहर निकले तो रद्दी कारोबारी मंत्री की गाड़ी के सामने बैठ गए. कलेक्ट्रेट से बाहर निकले मंत्री ने जब इन लोगों को जमीन पर बैठा देखा तो मंत्री खुद इनके पास आकर जमीन पर बैठ गए और इनकी समस्या को सुना.
रद्दी कारोबारियों ने टेंडर में गड़बड़ी की शिकायत. पूरी बात सुनने के बाद प्रभारी मंत्री तुलसी सिलावट ने ग्वालियर कलेक्टर को तत्काल टेंडर रद्द कराने के लिए निर्देश दिए. प्रभारी मंत्री ने कहा कि मध्य प्रदेश में गरीबों की सरकार है. मुख्यमंत्री किसान के बेटे हैं. हम सब जनता के सेवक हैं. इसलिए मैंने उनकी बात जमीन पर बैठकर सुनी है.
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