जौनपुर. देश में शिक्षा व्यवस्था की स्थिति बहुत ही खराब हो गई है. स्कूल-कॉलेज के स्टूडेंट्स एग्जाम में आंसर शीट में ऐसे-ऐसे उत्तर लिख रहे हैं, जिसे पढ़कर हर कोई हैरान है. वहीं पेपर जांचने वाले टीचर भी ऐसे परीक्षार्थियों को पास भी कर दे रहे हैं. ऐसा ही एक चौंका देने वाला मामला उत्तर प्रदेश के जौनपुर से सामने आया है. वीर बहादुर सिंह पूर्वांचल विश्वविद्यालय में फार्मेसी प्रथम वर्ष के चार छात्र कॉपी में जय श्रीराम और भारतीय क्रिकेटर्स के नाम लिखकर 56 प्रतिशत अंकों के साथ पास हो गए. मामला सामने आने के बाद यूनिवर्सिटी प्रशासन में हड़कंप मच गया है.

जौनपुर में पूर्वांचल विश्वविद्यालय के प्रोफेसरों का अजीबोगरीब कारनामा सामने आया है. फॉर्मेसी की परीक्षा में चार छात्रों को उत्तर पुस्तिका में प्रश्नों के उत्तर की जगह ‘जय श्री राम’ और क्रिकेट खिलाड़ियों का नाम लिखने पर 56 फीसदी अंक देकर पास कर दिया गया. अब इस मामले में परीक्षा समिति ने दो शिक्षक डॉ. आशुतोष गुप्ता और डॉ. विनय वर्मा को दोषी करार दिया है. इनके खिलाफ राजभवन पत्र भेजकर कार्यमुक्त करने की शिकायत की गई है. इस मामले का खुलासा राइट टू इनफार्मेशन के तहत सामने आया है. यूनिवर्सिटी के पूर्व छात्र दिव्यांशु सिंह ने इस मामले में आरटीआई के तहत जानकारी मांगी थी. दिव्यांशु सिंह ने तीन अगस्त 2023 को डी फार्मा के प्रथम वर्ष के 18 छात्रों के रोल नंबर उपलब्ध कराते हुए कॉपियां निकलवाकर पुनर्मूल्यांकन की मांग की थी.

आरटीआई से हुआ खुलासा

इसके बाद विश्वविद्यालय द्वारा 58 उत्तरपुस्तिकाओं की प्रति उपलब्ध कराने को कहा गया था, लेकिन केवल 42 उत्तर पुस्तिकाओं की प्रति उपलब्ध कराई गई. सूचना अधिकार के तहत मांगी गई जानकारी के जवाब में छात्र को जो उत्तर पुस्तिकाओं की प्रतियां उपलब्ध कराई गईं, उनमें बार कोड संख्या 4149113 की कॉपी में छात्र ने लिखा था “जय श्री राम पास हो जाएं” इसके अलावा विराट कोहली, रोहित शर्मा, हार्दिक पांड्या आदि खिलाड़ियों के नाम लिखे थे.

आंसर की जगह जय श्री राम और क्रिकेट खिलाड़ियों के नाम

उत्तर पुस्तिका में प्रश्नों के उत्तर लिखने के बजाय जय श्री राम और क्रिकेट खिलाड़ियों के नाम लिखने पर विश्वविद्यालय के शिक्षकों द्वारा इस छात्र को 75 में से 42 अंक यानि 56 फीसदी अंक देकर पास किया गया था. ऐसा ही मामला बार कोड 4149154, 4149158, 4149217 की कॉपियों में भी मिला. इन छात्रों को भी पास कर दिया गया था.

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पूर्व छात्र दिव्यांशु ने शपथपत्र के साथ राजभवन में शिकायत की थी. शिकायती पत्र में आरोप है कि पैसे लेकर छात्रों को पास कर दिया गया था. राजभवन द्वारा शिकायत को संज्ञान लेते हुए 21 दिसम्बर 2023 को जांच कर कार्रवाई का आदेश दिया गया था. राजभवन के आदेश पर विश्वविद्यालय ने शिकायत की जांच के लिए एक जांच कमेटी गठित की. जांच में जो सामने आया वह सब को हैरान कर दिया. राजभवन को भेजी गई उत्तर पुस्तिकाओं में 80 में से 50 उत्तर पुस्तिका में अधिक अंक दिए किए गए थे. जब उत्तर पुस्तिकाओं का पुनर्मूल्यांकन कराया गया तो बाह्य परीक्षकों द्वारा शून्य अंक प्रदान किए गए. ऐसे में पूर्व छात्र की शिकायत सही पाई गई.

प्रोफेसर का पैसे लेते वीडियो हुआ था वायरल

बता दें कि पूर्वांचल विश्वविद्यालय के फॉर्मेसी विभाग के प्रोफेसर डॉ. विनय वर्मा का छात्रों से पैसे मांगने का वीडियो वायरल हुआ था, इसके बाद कार्रवाई की बात कही जा रही थी. लेकिन आरोप है कि केवल कागजी कार्रवाई करके खानापूर्ति कर ली गई थी. इन सब के बावजूद विश्वविद्यालय प्रशासन द्वारा डॉ. विनय वर्मा को कई प्रशासनिक कार्यों में नोडल अधिकारी बनाया गया.

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