सत्यपाल सिंह राजपूत, रायपुर. प्रदेश में एक साथ कार्यरत संस्कृति एवं धर्मस्व विभाग का कामकाज जल्द ही बंट जाएगा. धर्मस्व विभाग के कामकाज को अलग करने के साथ प्रदेश में मंदिर और धार्मिक स्थलों की गणना के आदेश कलेक्टर और सीईओ को दे दिए गए हैं. यह बात संस्कृति, पर्यटन एवं धर्मस्व मंत्री ताम्रध्वज साहू ने लल्लूराम डॉट कॉम से विशेष चर्चा में कही.

मंत्री ताम्रध्वज साहू ने चर्चा में बताया कि आने वाले दिनों में सैकड़ों मंदिर पंजीबद्ध होंगे. सभी धार्मिक स्थलों में मेले और अनुष्ठान का आयोजन किया जाएगा. उन्होंने बताया कि इस संबंध में मुख्यमंत्री भूपेश बघेल से चर्चा की गई थी, जिसमें उन्होंने अपनी सहमति जताई है. आचार संहिता के बाद इस संबंध में कार्य में तेजी आएगी. उन्होंने कहा कि पिछली सरकार ने संस्कृति एवं धर्मस्व को लेकर कोई काम नहीं किया, जो जग ज़ाहिर है.

मंत्री ने कहा कि वर्तमान में हमारी शिक्षा प्रणाली में जो शिक्षा दी जा रही है, वो सिर्फ़ नौकरी के लायक मनुष्य को बना रहा, लेकिन मनुष्य में मानवता एक अच्छे व्यक्तित्व का निर्माण धर्मस्य संभव है. इसके लिए पहला कदम अपने घरों से उठाना होगा, साथ ही लोगों को इसके लिए सरकार धर्मस्व विभाग ने स्थापित कर सहयोग प्रदान करेगी. उन्होंने कहा कि मंदिरों के पुजारियों, मंहतों और वरिष्ठजनों से रायशुमारी कर आगे की नीति बनाई जाएगी.