नई दिल्ली. देश के सबसे बड़ा ‘सेक्स स्कैंडल’ माने जा रहे मध्य प्रदेश के हनी ट्रैप कांड में अब एक नया खुलासा हुआ है. हनी ट्रैप की आरोपियों ने सेक्स वीडियो का इस्तेमाल सिर्फ जाल में फंसे नेताओं, अधिकारियों को ब्लैकमेल करने के लिए नहीं किया था. लोकसभा चुनाव के दौरान नेताओं के सेक्स वीडियो को मुंहमांगी कीमत पर उनके विरोधी दलों के नेताओं को बेचने की भी कोशिश हुई थी. आरोपियों को लगता था कि नेताओं के अश्लील विडियो के लिए उनके प्रतिद्वंद्वी मुंहमांगी कीमत देने के लिए तैयार हो जाएंगे ताकि संबंधित नेताओं की छवि खराब कर राजनीतिक फायदा लिया जा सके. लेन-देन को लेकर हनी ट्रैप कांड की 2 आरोपियों की कांग्रेस और बीजेपी के कुछ नेताओं से कई दौर की बातचीत भी हुई लेकिन पैसों को लेकर सौदेबाजी अटक गई.

हनी ट्रैप कांड के आरोप में पकड़ी गईं महिलाओं में से 2 ने लोकसभा चुनाव के दौरान कई बड़े नेताओं के युवतियों के साथ अंतरंग संबंध वाले विडियो 30 करोड़ रुपये में बेचने की कोशिश की थी. इस मामले में लेन-देन को लेकर कुछ नेताओं से इन महिलाओं की कई दौर की बातचीत भी हुई थी. सूत्रों का कहना है कि राज्य में विधानसभा चुनाव के बाद सत्ता बदलने पर इन महिलाओं का नई सरकार में दखल कम हो चला था, लिहाजा इन महिलाओं ने सरकार से जुड़े दल कांग्रेस के कई नेताओं और दूसरी ओर विपक्षी दल बीजेपी के नेताओं से संपर्क बनाए रखा था.

सूत्र बताते हैं कि एक राजनीतिक दल के नेता कई वीडियो 6 करोड़ रुपये में खरीदने को राजी भी हो गए, मगर महिलाएं और उनके करीबी लोग 30 करोड़ रुपये से कम पर विडियो बेचने को तैयार नहीं हुए. सूत्रों का कहना है कि इन महिलाओं को इस बात का गुमान था कि राजनीतिक दलों से जुड़े लोग उनके विडियो मनचाही कीमत में खरीद लेंगे, क्योंकि इनके जरिए दूसरे दल के नेताओं की छवि को प्रभावित किया जा सकता था. लेकिन मांगी गई रकम बहुत ज्यादा होने के कारण कोई भी लेने के लिए राजी नहीं हुआ.

एसआईटी के सूत्रों का कहना है कि पकड़ी गई महिलाओं के मोबाइल, लैपटॉप और पेनड्राइव से बड़ी संख्या में वीडियो क्लिपिंग मिली हैं. एसआईटी को क्लिपिंग की चार हजार से ज्यादा फाइलें हाथ लगी हैं और कई तस्वीरें व ऑडियो क्लिपिंग भी बरामद हुई हैं. आरोपी महिलाओं ने पूछताछ में कई नेताओं और अफसरों के नामों का भी खुलासा किया है.

हनी ट्रैप का वीडियो

https://www.youtube.com/watch?v=gemdnOnJ_pg