रायपुर. मुख्यमंत्री भूपेश बघेल की अपील पर श्रमिक दिवस पर कांग्रेस भवन में शहर जिला कांग्रेस कमेटी और कार्यकर्ताओं ने सामूहिक रूप से बोरे-बासी खाकर श्रमिक दिवस मनाया. इस दौरान विधायक विकास उपाध्याय, विधायक कुलदीप जुनेजा निगम सभापति प्रमोद दुबे, ज्ञानेश शर्मा शहर अध्यक्ष, गिरीश दुबे, शिव सिंह ठाकुर, बंशी कन्नौजे सहित सैकड़ों कार्यकर्ता उपस्थित थे. इतना ही नहीं कई जिले के कलेक्टर और अधिकारियों ने भी बोरे-बासी खाकर श्रमिक दिवस मनाया.

वहीं भिलाई के विधायक देवेंद्र यादव ने कहा, हमारे मेहनतकश मजदूरों के सम्मान में छत्तीसगढ़ की संस्कृति, परंपरा और हमारा प्रिय व्यंजन ‘बोरे-बासी’ खाकर दिन की शुरुआत की. श्रमिक दिवस की बधाई एवं शुभकामनाएं.

कोण्डागांव के कलेक्टर दीपक सोनी ने अंतर्राष्ट्रीय श्रम दिवस के अवसर पर जिले के बाखरा ग्राम पंचायत में मनरेगा श्रमिकों और ग्रामीणों के साथ बोरे-बासी खाकर मेहनतकश श्रमवीरों का सम्मान किया.

बलरामपुर कलेक्टर रिमिजियुस एक्का, जिला पंचायत मुख्य कार्यपालन अधिकारी रेना जमील ने श्रम विभाग द्वारा सेहत बाजार में आयोजित कार्यक्रम में बोरे-बासी के साथ लाल भाजी, लकरा चटनी, आम चटनी, प्याज, भुनी मिर्च खाकर श्रमिकों के प्रति सम्मान व्यक्त किया.

दुर्ग कलेक्टर पुष्पेंद्र मीणा, एसपी अभिषेक पल्लव और सी.ई.ओ. जिला पंचायत ऐ. के. देवांगन ने छत्तीसगढ़िया अंदाज़ में विवेकानन्द मंगल भवन दुर्ग में आयोजित कार्यक्रम में बोरे-बासी का लुत्फ उठाया.

बीजापुर जिले के पुलिस अधीक्षक आंजनेय वाष्णैर्य ने नया पुलिस लाईन रक्षित केंद्र में श्रमवीरों के सम्मान मे पुलिस जवानों के संग बोरे बासी खाया.

जशपुर कलेक्टर डॉ. रवि मित्तल और जिला पंचायत सीईओ जितेन्द्र यादव ने अंतरराष्ट्रीय श्रमिक दिवस के अवसर पर बोरे-बासी खाकर श्रमिकों का सम्मान किया. कलेक्टर रवि मित्तल ने समस्त नागरिकों को श्रमिक दिवस की शुभकामनाएं देते हुए कहा कि, बासी छत्तीसगढ़ प्रदेश की प्रमुख आहार है. छत्तीसगढ़ सरकार के द्वारा छत्तीसगढ़ की कला, संस्कृति, परंपराएं, तीज-त्यौहार, बोली-भाषा, खेलकूद इन सबके संरक्षण एवं संवर्धन के लिए निरंतर कार्य किया जा रहा है. इसी कड़ी में हमारे प्रदेश में छत्तीसगढ़ की पारंपरिक व्यंजन और खानपान को भी आगे बढ़ाने के लिए भरपूर प्रयास किया जा रहा है.

वहीं तख़तपुर राजस्व अधिकारी एसडीएम सहित तहसीलदार ने बोरे बासी का लुफ्त उठाया. एसडीम सूरज कुमार साहू ने बताया कि अपनी पुरानी संस्कृति को याद कर बोरे बासी खाकर हम सभी आनंदित महसूस कर रहे हैं.