मुंबई. मुंबई पुलिस ने आज रिपब्लिक टीवी के सीईओ विकास खनचंदानी और अन्य से कथित फर्जी टेलीविजन रेटिंग पॉइंट (टीआरपी) मेगा-घोटाले के संबंध में पूछताछ की.

 इसके अलावा, चैनल के तीन अन्य अधिकारियों, हंसा रिसर्च ग्रुप के सीईओ प्रवीण निझारा और एक कर्मचारी से भी पुलिस ने पूछताछ की है. मामले की पुलिस जांच में पाया गया है कि गिरफ्तार किए गए व्यक्तियों में से एक व्यक्ति ने चार या पांच व्यक्तियों से अपने बैंक खाते में एक करोड़ रुपये से अधिक की भारी जमा राशि प्राप्त की थी.

वहीं शिवसेना नेता संजय राउत ने टीआरपी घोटाले को 30 हजार करोड़ रुपए का बताया है. संजय राउत ने कहा है कि अगर मुंबई पुलिस कमिश्नर खुद प्रेस काफ्रेंस करके सारी बात कह रहे हैं तो उनके पास जरूर कोई न कोई ठोस सबूत होंगे.

इसके अलावा रिपब्लिक टीवी के सीएफओ शिव एस. सुंदरम, जिन्हें शनिवार को तलब किया गया था, ने पुलिस से पूछताछ के लिए कोई और तारीख देने का आग्रह किया है. मुंबई पुलिस द्वारा कथित रूप से रिपब्लिक टीवी, फकत मराठी और बॉक्स सिनेमा से जुड़े घोटाले का खुलासा करने के तीन दिन बाद यह घटनाक्रम सामने आया और जांच के लिए इन चैनलों के शीर्ष अधिकारियों को बुलाने के अलावा कम से कम चार लोगों को गिरफ्तार किया गया.

पुलिस ने तीनों चैनलों के वित्तीय मामलों में फोरेंसिक ऑडिट कराने के लिए एक विशेष टीम का गठन किया है. हालांकि, रिपब्लिक टीवी ने बार-बार किसी भी गलत काम को करने से इनकार किया है और महाराष्ट्र सरकार और मुंबई पुलिस पर फंसाने का आरोप लगाते हुए पुलिस आयुक्त परम बीर सिंह पर मुकदमा ठोंकने की धमकी दी है.

इस मामले में संजय राउत ने कहा है कि यह टीआरपी का बड़ा घोटाला है. मुंबई पुलिस के अनुमान के मुताबिक घोटाला 30 हजार करोड़ का हो सकता है. जो चैनल महाराष्ट्र के नेताओं पर छींटकशी कर रहा था और सत्य की बात कर रहा था उसके पीछे कितना बड़ा ढोंग है यह सामने आ गया है. मुंबई पुलिस ने पर्दे के पीछे की हकीकत उजागर कर दी है.

क्या है TRP घोटाला

दरअसल मुंबई पुलिस कमिश्नर परमबीर सिंह ने गुरुवार को खुलासा किया है कि तीन चैनल कुछ लोगों को हर महीने 400 से 500 रुपये का लालच देकर अपनी TRP बढ़वा रेह थे. इस घोटाले का खुलासा मुंबई पुलिस की कार्रवाई से हुआ है. मामले की शिकायत TRP बताने वाली एजेंसी BARC  ने खुद की थी. सूत्रों के मुताबिक TRP घोटाले में मुंबई पुलिस के पास कई अहम सबूत हैं. मुंबई पुलिस ने इस मामले में विशाल भंडारी नाम के शख्स को गिरफ्तार किया है. लेकिन टीआरपी के इस पूरे खेल में संजू राव नाम का शख्स बड़ी मछली है. TRP घोटाले पर मुंबई पुलिस के खुलासे के बाद रेटिंग एजेंसी BARC ने भी बयान जारी कर जांच का स्वागत किया है. साथ ही जांच में हर मदद देने का भरोसा भी जताया है.