संतोष राजपूत, डोंगरगढ़. छत्तीसगढ़ सड़क विकास निगम द्वारा डोंगरगढ़ से चिचोला तक 15 किलोमीटर लंबी सड़क का निर्माण कराया जा रहा है. सड़क के निर्माण कार्य का ठेका हैदराबाद की एनएसपीआर प्राइवेट कंपनी को दिया गया. इस सड़क को लगभग 40 करोड़ की लागत से तैयार किया जा रहा है. बीच बीच में कई जगहों पर सड़क का निर्माण कार्य पूरा भी हो चुका है. लेकिन उन जगहों पर निर्माण के कुछ दिन बाद ही थोड़ी सी बारिश से सड़क धंस गई है, कुछ जगहों पर सड़कों में बड़ी बड़ी दारारें भी आ गई. जिसके चलते आये दिन कोई न कोई वाहन हादसे का शिकार हो रहा है.

लोगों का आरोप है कि सड़क का निर्माण कार्य करा रहे ठेकेदार ने मामले में लीपापोती शुरू कर दी है. ठेकेदार द्वारा सड़क को फिर से दुरुस्त करने की बजाय गड्डो में गिट्टी व कांक्रीट डाला जा रहा है. जिससे गुणवत्ताविहीन कराए गये कार्य पर पर्दा डाला जा सके. लेकिन पिछले दिनों हुई बारिश ने एक बार फिर ठेकेदारा की इस करतूत को कुरेदकर सामने ला दिया है.

बताया जा रहा है कि प्रदेश में सुगम यातायात के लिए 2 हजार 636 करोड़ रुपये की लागत से 767 किलोमीटर सड़क निर्माण करना था. जिसमें छत्तीसगढ़ के विभिन्न स्थानों सहित डोंगरगढ़-चिचोला सड़क निर्माण करना भी शामिल था. लेकिन यह सड़क ठेकेदार की मनमानी के चलते पानी में बहती नजर आ रही है.

डोंगरगढ़-चिचोला मार्ग से आसपास के लोग ही आना जाना नहीं करते, बल्कि इस सड़क से प्रतिदिन मां बम्लेश्वरी माता के दर्शन करने दूरदराज से हजारों दर्शनार्थी पहुंचते है, जिनकी संख्या नवरात्रि में लाखों में होती है. लेकिन इस घटिया सड़क निर्माण के चलते आने वाले समय में किसी बड़े हादसे से इंकार नहीं किया जा सकता.

बता दें कि छत्तीसगढ़ के मुखिया डॉ रमन सिंह ने 7 अप्रैल को सड़क निर्माण कार्य की समीक्षा बैठक ली थी. जिसमें उन्होंने सड़क की गुणवत्ता पर विशेष ध्यान देने बल दिया था, साथ ही निर्माण कार्य निर्धारित समय के भीतर करने दिखा निर्देश जारी किये थे. लेकिन प्रशासनिक नुमाइंदे मुखिया की कही बातों को कितना पूरा कर रहे है, यह डोंगरगढ़ चिचोला सड़क मार्ग निर्माण से ही पता लग रहा है.