सूरत। गुजरात में एक आश्चर्यजनक मामला दर्ज हुआ है। यहां 23 साल के युवक ने 18 साल पहले मृत माने जा चुके अपने पिता को सोशल मीडिया प्लेटफोर्म फेसबुक पर देख लिया। इसके बाद उसके जिंदा होने और परिवार को धोखा देकर बेसहारा छोड़ने की हकीकत सामने आई। अब दोनों पक्षों ने थाने में शिकायत दर्ज कराया है। 

दरअसल, 2005 में युवक के पिता ने अपनी खुद की मृत्यु की अफवाह फैलाई और पत्नी सहित चार संतानों को बेसहारा छज्ञेड़ कर गुजरात के ही डाकोर में अन्य एक युवती के साथ संसार बसाने चले गए। 

नौकरी की तलाश में निकला था घर से

जानकारी के मुताबिक, 23 वर्षीय युवक महावीर अपनी तीन बहनों और मां रमीलाबेन के साथ सूरत के डिंडोली इलाके में रहता है। महावीर जब 5 साल का था, तब उसके पिता- महेन्द्र सिंह चुडसमा कामकाज की तलाश में शहर के बाहर गए और फिर कभी नहीं लौटे। उनके परिवार और दोस्तों ने अकटलें लगाईं कि उनकी मृत्यु हो चुकी है। 

युवक को आई पिता की याद

18 साल पहले की इस घटना के पश्चात लगभग 8 महीनों पूर्व महावीर फेसबुक पर सर्फिंग कर रहा था।  उसे अचानक अपने पिता की याद आई और उसने साइट पर अपने पिता का नाम महेन्द्र सिंह चुडासमा टाइप करके सर्च किया। सर्च रिजल्ट में जो सामने आया उसे देखकर वो चौंक गया। 

फेसबुक में दिए नंबर से हुई बात

महावीर ने अपने पिता के नाम से फेसबुक प्रोफाइल देखी और उसमें एक फोटो भी थी। उसने अपनी मां को फोटो दिखाई वे चौंक गई। उनके पति जिंदा थे। साइट पर फोन नंबर दिया था। जिस पर उनके द्वारा कॉल किया। पहले तो सामने से ठीक-ठाक उत्तर नहीं मिला, लेकिन बाद में उस व्यक्ति ने स्वीकार कर लिया कि वह महेन्द्र सिंह ही है। 

18 साल बाद लौटा, परिवार को दिया दूसरा झटका

18 सालों से खुद को बेसहारा मानने वाला परिवार महेन्द्रसिंह को देखकर द्रवित हो उठा। परिवार का मिलन होने पर सभी की आंखें भीग गईं। महेन्द्रसिंह सूरत में रह रही अपनी पत्नी और बच्चों के लिये तोहफे लेकर आया और फिर वापस चला गया। कुछ महीनों के लिये आना-जाना लगा रहा। महेन्द्रसिंह ने बताया कि वह अहमदाबाद रहता है। वह अपने परिवार के सदस्यों को घूमने भी ले गया। लेकिन मामला उस समय बिदक गया। जब परिवार के सदस्यों ने महेन्द्रसिंह के साथ जाने की जिद्द की। महेन्द्रसिंह यह कहकर भाग गया कि उसने दूसरी शादी कर ली है और इस शादी से जन्मी पुत्री के नाम पर ‘न्यू रिद्धि सिद्धि जीन्स क्लोथ’ नामक दुकान चला रहा है। 

परिवार ने उसकी दूसरी पत्नी से की मुलाकात

महेन्द्रसिंह ने जब एक बार फिर अपने पुराने परिवार से मिलना बंद कर दिया, तो परिवार ने ‘न्यू रिद्धि सिद्धि जीन्स क्लोथ’ के नाम से सोशल मीडिया पर सर्च किया तो चला कि इस नाम से एक दुकान डाकोर शहर में है और फोन नंबर भी उनके पिता महेन्द्रसिंह का ही दिया हुआ है। परिवार डाकोर पहुंच गया और वहां उनकी दूसरी पत्नी जयश्री बेन से मिला। महेन्द्रसिंह का भांडा फूट चुका था।

परिवार पर लगाया ब्लैकमेलिंग का आरोप

अब महेन्द्रसिंह ने डाकोर पुलिस में अपने पुराने परिवार के सदस्यों के खिलाफ ब्लेकमेलिंग करने की शिकायत दर्ज करा दी। जवाब में पुराने परिवार की अगुवा रमीलाबेन ने अपने पति के खिलाफ सूरत के डिंडोला थाने में मामला दर्ज कराया है।

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