सपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव ने शुक्रवार को गन्ना किसानों की समस्याओं को लेकर प्रदेश की योगी सरकार पर जमकर बरसे. अखिलेश यादव कहा कि गन्ना किसानों की दुर्दशा तो भाजपा राज में सबसे ज्यादा है. गन्ना पेराई सत्र शुरू हुए तीन महीना हो चुका है. वर्ष 2022-23 का गन्ना मूल्य अभी तक घोषित नहीं किया गया है.
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अखिलेश यादव ने कहा कि प्रदेश में चल रही 120 चीनी मिलों से जुड़े 60 लाख से ज्यादा किसानों को आर्थिक परेशानी उठानी पड़ रही है. भाजपा सरकार हर काम चुनाव के लाभ हानि की नजर से करती है. उन्होंने कहा कि गन्ना किसानों को भी भाजपाई राजनीति का शिकार बनाया जा रहा है. गन्ना किसान को उत्पादन और परिश्रम लागत जोड़कर भुगतान किया जाना चाहिए.
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अखिलेश यादव ने कहा कि भाजपा सरकार गन्ना का समर्थन मूल्य जल्द घोषित क्यों नहीं कर रही है? पीएम नरेंद्र मोदी ने साल 2022 तक किसानों की आय दुगनी करने का वादा किया था. 2022 बीत गया पर, भाजपा नेतृत्व को अपने वादे की याद नहीं आई. उन्होंने कहा कि मंहगाई के कारण किसान की फसल की उत्पादन लागत बहुत बढ़ती जा रही है.
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सपा अध्यक्ष ने ये भी कहा कि सरकारी मदद समय से न मिलने से किसान पर कर्ज का बोझ भी बढ़ता जा रहा है. सैकड़ों किसानों ने आत्महत्या तक कर ली है. उन्होंने सरकार पर किसानों के प्रति घोर संवेदनहीन होने का आरोप लगाया. कहा, भाजपा की गलत नीतियों से किसान आक्रोशित है. वह 2024 के चुनाव में भाजपा को करारा जवाब देगा.
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