दिल्ली. ताइवान का एक हाउटोंग नाम का टाउन खास तौर पर बिल्लियों के लिए मशहूर है। यहां बिल्लियों की आबादी लगातार बढ़ती चली जा रही है। अगर इतिहास पर नजर डालें तो हाउटोंग एक ऐसा कस्बा था जो खनन के लिए जाना जाता था लेकिन अब बिल्लियों के प्रति प्यार के लिए जाना जाता है।

यहां एक बिल्लियों के आकार का पुल है, एक एक ऐसा रास्ता है जहां बिल्लियों के खाने के लिए रास्ते के किनारे कटोरे रखे रहते हैं, बिल्ली की थीम वाले कैफे हैं और ट्रैफिक सिग्नल हैं।

इस गांव में बिल्लियां आजाद घूमती हैं उन्हें कोई रोकने या पकड़ने की कोशिश नहीं करता है। वह पब में जाती हैं और कई बार लोगों की कुर्सी और टेबलों पर भी बैठ जाती हैं। साल 1990 के समय हाउटोंग खनन से जुड़ा ऐसा कस्बा था तो तकनीकी रूप से काफी आधुनिक था। यहां खदानों में काम करने वाले 6 हजार लोग रहते थे। लेकिन 1990 के बाद कस्बे में खनिज पदार्थ कम होने लगे और ज्यादातर लोग काम की तलाश में कस्बे से चले गए। अब हाउटोंग में इंसानों से ज्यादा आबादी में बिल्लियां रहती हैं।