मथुरा। रंगों का पर्व होली का उत्साह इस बार कोरोना ने कुछ फीका कर दिया, लेकिन मथुरा-वृंदावन में इस साल भी अजब माहौल दिखा. सुबह से ही रंग-गुलाल उड़ते रहे. मथुरा के बांके बिहारी मंदिर में चहुंओर खुशी का माहौल है.

देशभर में ब्रज की होली का अलग ही महत्व है. होली पर देश-विदेश के लाखों श्रद्धालु मथुरा-वृंदावन में आते हैं. वहीं प्रहलाद नगरी गांव फालैन में रविवार की सुबह से ही प्रहलाद कुंड मेला स्थल के पास धमार गायन शुरू हो गया.

रविवार की शाम से ही धमार गायन बाहर से आए गायक कलाकारों ने शुरू कर दिया था. देर रात को ही ग्रामीणों द्वारा रखी गई होलिका की फालैन, सुपाना, राजागढ़ी, वरचावली, नगला आदि पांच गांव के लोगों ने आकर पूजा की और गांव में निकलने वाले पंडा के सामने रौद्र रूप न धारण करने की प्रार्थना की. रात ढलते ही पंडा ने नगाड़ा, ढोलक, मजीरा आदि के साथ गाते बजाते पांचों गावों के नर-नारियों के साथ होलिका की परिक्रमा की और लग्न अनुसार पंडा के संकेत के अनुसार दीपक जलाया गया. ब्रज की होली खेलने देशभर के लोग यहां पहुंचे हुए हैं. रंगों का पर्व को लेकर लोगों में खूब उत्साह है.

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