हेमंत शर्मा, इंदौर। बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ ( Beti Bachao Beti Padhao Scheme ) की जिला स्तरीय टास्क फोर्स बैठक में इंदौर में Sex ratio को लेकर बड़ा खुलासा हुआ है। दौर में बेटों की तुलना में बेटियों की संख्या आधी है। मध्य प्रदेश के दो मंत्रियों की विधानसभा में लड़कों की तुलना में लड़की के संख्या आधी से कम हो गई है। महिला बाल विकास विभाग के आंकड़ों से यह खुलासा हुआ है।
महिला बाल विकास विभाग ( Women and Child Development Department) के चौंकाने वाले आंकड़े सामने आने के बाद इंदौर जिला प्रशासन में हड़कंप मच गया है। कैबिनेट मंत्री तुलसी सिलावट ( cabinet minister tulsi silavat) की विधानसभा क्षेत्र के 18 गांव में लड़कियों की संख्या में भारी कमी आई है। वहीं संस्कृति मंत्री उषा ठाकुर ( Culture Minister Usha Thakur) के विधानसभा क्षेत्र के 11 गांव में तीन लड़कियों की संख्या लड़कों की तुलना में आधी रह गई है। SRB की रिपोर्ट के अनुसार इंदौर के सेक्स रेशो भले ही 987 है पर इंदौर के 52 गांव और शहर के 11 वार्डों में बेटों की तुलना में बेटियों की संख्या आदि से कम है। महिला बाल विकास अधिकारी के मुताबिक 2 साल से फंड नहीं मिला है।
बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ ( Beti Bachao Beti Padhao Scheme ) जिला स्तरीय टास्क फोर्स बैठक में एक चौंकाने वाला बड़ा खुलासा हुआ है। इंदौर के 52 गांव और 11 शहरी वार्डों में लड़कों की तुलना में लड़कियों की संख्या काम मिली है। जिसमें दो मंत्री तुलसी सिलावट और उषा ठाकुर के विधानसभा क्षेत्रों में लड़कों की तुलना में लड़कियों की संख्या आधी से भी कम है।
सांवेर विधानसभा क्षेत्र के 18, देपालपुर के 15 , महू के 11 और 11 वार्डों में लड़कियों की संख्या में कमी नजर आई महिला बाल विकास अधिकारी के मुताबिक वैसे इंदौर का जो डेट आया है। NFHO 5 का उसमें बहुत ही सकारात्मक परिणाम आए हैं। NFHO 4 की तुलना में बर्थ 147 बिंदु से बड़ा है जो बढ़कर 996 गया है इसी प्रकार से ओवरऑल सेक्स रेशों 895 से बड़के 987 हो गया है इंदौर स्वास्थ विभाग जिला विभाग ने बहुत मुस्तैदी से काम किया है। इस प्रकार के आंकड़े पूरे प्रदेश के किसी भी जिले में नहीं हुए, लेकिन कुछ कुछ पॉकेट ऐसे हो सकते हैं जहां हमने आंगनबाड़ी से डाटा लिया है। उसमें कुछ गांव में यह संख्या कम मिली है। हालांकि अभी अभी अध्ययन कर रहे हैं कि कहीं आंगनवाड़ी के कवरेज कम तो नहीं इसका अध्ययन भी कर रहे हैं।
निश्चित रूप से जहां अभी हमारे पास सेक्शरेशों काम आया है हम बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ योजना में आगामी वर्ष में इन्हीं पर फोकस पॉइंट्स को बनाकर सारी एक्टिविटीज यहां प्लान करेंगे अच्छे से अच्छे परिणाम लाने के लिए प्रयास करेंगे पिछले 2 साल से फंड की कमी थी 1 हफ्ते पहले कुछ फंड मिला है निश्चित रूप से फंड की कमी असर तो डालती है अवेयरनेस एक्टिविटीज चल तो रही थी लेकिन फंड की कमी से परेशानी आ रही थी।
अनिवार्य कामों के लिए किसी प्रकार की फंड की कमी नहींः संस्कृति मंत्री उषा ठाकुर
वहीं संस्कृति मंत्री उषा ठाकुर के विधानसभा क्षेत्र में 11 गांव में लड़कों की तुलना में लड़कियों की संख्या कम सामने आई है। मंत्री उषा ठाकुर आंकड़ों को मंगा कर उनका अध्ययन करेंगे। विशेष अभियान क्षेत्र में चलाएंगे। मंत्री उषा ठाकुर ने कहा नवरात्रि मनाने वाला यह भारतीय समाज किसी भी पंचायत में बेटियों की संख्या कम कैसे हो सकती है, यह जागरण करेंगे और आई हुई कमी को शीघ्र से पूर्ण करेंगे। अनिवार्य कामों के लिए किसी प्रकार की फंड की कमी नहीं है। महिला बाल विकास अधिकारी से एक बार बात करेंगे किस प्रकार की फंड की कमी के कारण आंकड़े सामने आए हैं।
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तुरंत फंड की व्यवस्था करेंगेः कैबिनेट मंत्री तुलसी सिलावट
वहीं कैबिनेट मंत्री तुलसी सिलावट के विधानसभा क्षेत्र के 18 गांव में चौंकाने वाले आंकड़े सामने आए हैं। इन आंकड़ों को लेकर मंत्री तुलसी सिलावट ने कहा हम युद्ध स्तर पर हैं। बेटियों का 956 सेक्स रेशों हो गया है। हम कोशिश करेंगे हम बेटी और बेटों को प्रेरित करेंगे। मेरे संज्ञान में आ गया है। मैं इसमें तुरंत फंड की व्यवस्था करेंगे।
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