जितेंद्र सिन्हा, राजिम. प्रदेश सहित अंचल में नोवेल कोरोना के संक्रामक बीमारी से सभी वर्ग के लोग काफी दहशत में है. प्रशासन ने सुरक्षा के एहतियात बरतने के साथ ही प्रदेश के सभी स्कूलों व कॉलेजों में 31 मार्च तक आकस्मिक अवकाश घोषित किया है. स्वास्थ्य विभाग को 24 घंटे अलर्ट रहने के निर्देश जारी किए गए हैं. इतना सब होने के बावजूद छुरा विकासखंड मुख्यालय में एक बड़ी लापरवाही उजागर हुई है.

ग्राम पंचायत खरखरा के आश्रित ग्राम पंडरीपानी के पोल्ट्री फार्म संचालक हेमलाल साहू ने मुख्यालय के समीप खरखरा जलाशय में सैकड़ों जिंदा व मरी हुई मुर्गियों को फेंक दिया. मामले का उजागर होते ही मौके पर स्वास्थ्य विभाग की टीम व पशु चिकित्सक ने स्थल का निरीक्षण किया. जहां सैकड़ों जिंदा और मरी मुर्गी पाई गई.

मौके पर पहुंचे खंड चिकित्सा अधिकारी एसपी प्रजापति व पशु चिकित्सक डॉ केपी साहू ने पोल्ट्री फार्म संचालक को निर्देशित किया कि तत्काल जिंदा व मरी मुर्गियों को जमीन में गड्डा खोदकर दफन करें, ताकि इलाके में किसी प्रकार की कोई अफवाह न फैले.

पोल्ट्री फार्म संचालक हेमलाल साहू का कहना है कि कम्पनी ने तकरीबन 10 से 12 दिनों तक दाना सप्लाई नहीं किया. इस वजह से अधिकांश मुर्गियां मर चुकी हैं. इसकी जानकारी कंपनी को दिया था. कंपनी ने मुर्गियों को समीप के जंगल मे दफन करने कहा था, लेकिन जेसीबी मशीन नहीं मिलने के चलते जंगल में ही छोड़ दिया था.

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