कुमार इंदर,जबलपुर। मध्यप्रदेश कांग्रेस के पूर्व मंत्री यादवेंद्र सिंह को मारपीट मामले में हाईकोर्ट से अग्रिम जमानत मिल गई है. टीकमगढ़ से बीजेपी विधायक राकेश गिरी गोस्वामी पर हमले का आरोप लगा था. इस मामले में जबलपुर हाईकोर्ट ने आदेश जारी कर दिया है. जिसमें हाईकोर्ट ने टिप्पणी की है कि यादवेंद्र सिंह और उनके परिवार पर की गई FIR राजनीति से प्रेरित है.

दरअसल पूर्व मंत्री यादवेंद्र सिंह को जबलपुर हाइकोर्ट से अग्रिम जमानत मिल गई है. बीजेपी विधायक राकेश गिरी और उनके भाई से मारपीट का पूरा मामला है. अग्रिम देते हुए हाईकोर्ट ने कहा कि यादवेंद्र सिंह और उनके परिवार पर की गई एफआईआर राजनीति से प्रेरित है. बीजेपी नेता के दबाव में धारा 307, 326 जोड़ी गई है.

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इस मामले में बीच बचाव करने उमा भारती उतरी थीं. पूर्व सीएम उमा भारती ने गिरफ्तारी नहीं होने तक टीकमगढ़ में डटे रहने की चेतावनी दी थी. उमा भारती ने कांग्रेस नेताओं पर गुंडागर्दी का आरोप लगाया था. इस मामले में काफी गहमा गहमी हुई थी. इस मामले में पहले मारपीट की धाराएं लगाई गई थी, लेकिन विरोध के बाद पूर्व मंत्री यादवेंद्र सिंह समेत कई लोगों के खिलाफ हत्या के प्रयास का मामला दर्ज हुआ था.

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बता दें कि 13 जुलाई को नगरीय चुनाव के मतदान के दौरान शहर के वार्ड नंबर 1 में भाजपा विधायक राकेश गिरी गोस्वामी और कांग्रेस के पूर्व मंत्री यादवेंद्र सिंह के बीच विवाद हो गया था. घटना के बाद कोतवाली पुलिस ने पूर्व मंत्री और उनके 2 बेटों, भतीजे सहित 25 लोगों के खिलाफ धारा 307, 326 सहित अन्य धाराओं के तहत मामला दर्ज किया था. अब घटना के करीब 49 दिन बाद पूर्व मंत्री को राहत मिली है.

पढ़िए हाईकोर्ट की टिप्पणी

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