नेहा केशरवानी, रायपुर. भानुप्रतापपुर विधानसभा में उपनिर्वाचन के लिए अधिसूचना जारी हो गई है. जिसके बाद से उत्तर बस्तर जिले में आचार सहिंता प्रभावशील हो गई है. चुनाव कार्यक्रम के संबंध में छत्तीसगढ़ निर्वाचन आयोग ने शनिवार को प्रेस कॉन्फ्रेंस ली. इस दौरान निर्वाचन पदाधिकारी रीना बाबासाहेब कंगाले ने नियमों और गाइडलाइन्स की जानकारी दी.

निर्वाचन पदाधिकारी ने बताया कि उपचुनाव के लिए 9 नम्बर को अंतिम प्रकाशन, नाम दाखिल करने की अंतिम तिथि होगी. वहीं नामांकन प्रक्रिया 10 नवंबर से शुरू होगी. 5 दिसम्बर को मतदान होगा. भानुप्रतापपुर विधानसभा में 228 ग्रामीण क्षेत्र हैं और 15 शहरी क्षेत्र. इसे देखते हुए इस बार क्षेत्र में कुल 256 मतदान केंद्र बनाए गए हैं.

इन्हें मिलेगी ये सुविधा

निर्वाचन पदाधिकारी ने बताया कि भानुप्रतापपुर में कुल 195,678 मतदाता हैं. जिसमें महिला मतदाताओं की संख्या 140,051 है वहीं 95,186 पुरूष मतदाता है. 80 साल से ज्यादा उम्र की महिला मतदाताओं की संख्या पुरुषों से दोगुनी. सेवा मतदाता 548 ETPBMS के माध्यम से वोट की सुविधा है. इसके अलावा कोरोना संक्रमित मतदाता, 80 वर्ष से ज्यादा और विकलांग को
डाक मतपत्र के माध्यम वोट डालने की सुविधा होगी उन्होंने बतााय कि साल 2018 में इस विधानसभा में 77% मतदान हुआ था.

लेनी होगी अनुमति

आयुक्त ने बताया कि विधानसभा क्षेत्र के निर्वाचन के लिए नियुक्ति की जा चुकी हैं. अभ्यर्थियों को ऑनलाइन फॉर्म भरने की सुविधा होगी. उन्होंने कहा कि मतदाता जागरूकता के लिए इलेक्ट्रॉनिक और प्रिंट मीडिया की अहम भूमिका होगी. उन्होंने ये भी बताया कि रोड शो, प्रसार प्रचार में कोरोना गाइडलाइन्स का पालन करना होगा. रैली या जनसभाओं के लिए अनुमति लेनी होगी. रात 10 बजे से सुबह 6 बजे तक प्रचार प्रसार प्रतिबंधित रहेगा. शासन के सभी विभागों को आचार सहिंता के पालन का होगा, इस दौरान शिकायत मिलने पर मामले को गंभीरता से लिया जाएगा.

उत्तर बस्तर कांकेर में आचार सहिंता प्रभावशील होने के साथ 24 घंटे के अंदर सभी राजनीतिक बैनर-पोस्टर हटाने के निर्देश दिए गए हैं. वहीं अब जिले में कल्याणकारी योजना की घोषणा पर भी प्रतिबंध रहेगा. निर्वाचन व्यय की सीमा 28 लाख से 40 लाख रुपये तक निर्धारित की गई है.

ये भी देखें-

1843 बैलेट यूनिट

650 कंट्रोल यूनिट

नक्सल अफेक्टेड मतदान केंद्र 95

नाम वापसी के बाद मतदान दिवस के पूर्व तक टीवी, समाचार में प्रकाशन करना होगा. 3 बार करना होगा प्रकाशन ये उच्चतम न्यायालय के अधीन है.

राज्य और जिला स्तर पर मीडिया पर निगरानी रहेगी. भ्रामक समाचार की जांच होगी, पेड न्यूज पर mcmc कमेटी इन्वेस्टिगेशन करेगी.

बता दें कि मनोज मंडावी का 16 अक्टूबर को निधन हो गया था, जिसके बाद विधानसभा सचिवालय ने उनके निधन की अधिसूचना जारी करते हुए इसकी सूचना निर्वाचन आयोग को भेज दी थी. अधिसूचना जारी होने के साथ ही रिक्त हुए भानुप्रतापपुर विधानसभा क्षेत्र में उपचुनाव का रास्ता साफ हो गया था. 

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