सुधीर दंडोतिया, भोपाल। मध्य प्रदेश के मुख्य सचिव अनुराग जैन ने वन विभाग से जुड़े एक मामले में पुराने सीएस इक़बाल सिंह बैंस के द्वारा लिए गए फैसले को बदल दिया है। मप्र वन मुख्यालय भवन के एक ब्लॉक के बेचे गए तीन फ्लोर फिर से वन विभाग को वापस किए जाएंगे। इन फ्लोर खरीदने वाले विभागों को शासन की ओर से राशि वापस लौटाने के लिए वित्त विभाग ने अपनी सहमति दे दी है। 

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जानकारी के अनुसार पिछले साल राज्य शासन ने लोक परिसंपत्ति प्रबंधन विभाग (पाम) के जरिए लगभग 59 करोड़ रुपए में यह तीनों फ्लोर तीन अलग-अलग सरकारी निकायों को नीलामी के जरिए बेच दिए थे। छह माह पहले इनकी रजिस्ट्री भी शासन ने करा दी थी। यह राशि वन विभाग को न देकर लोक परिसंपत्ति प्रबंधन विभाग ने सीधे वित्त विभाग शासन के मद में सौंप दी थी। 

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बता दें कि 59 करोड़ में वन भवन के ई-ब्लॉक के तीन फ्लोर को श्रम विभाग के कर्मकार कल्याण मंडल, स्टेट इलेक्ट्रानिक्स डेवलपमेंट कार्पोरेशन लिमिटेड और स्टेट माइनिंग कार्पोरेशन को बेच दिया गया था। शिवराज सरकार में बनकर तैयार हुए वन भवन को 159 करोड़ रुपए में बनकर तैयार होना था, लेकिन निर्माण में देरी से इसकी लागत 182 करोड़ रुपए बढ़ गई थी। बढ़ी हुई लागत के 23 करोड़ की वसूली के लिए तत्कालीन मुख्य सचिव इकबाल सिंह बैंस ने वन भवन के एक हिस्से को बेचने के निर्देश जारी कर दिए थे। 

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