शब्बीर अहमद, भोपाल। अपनी मांगों को लेकर हड़ताल कर रही नर्सों को पूर्व सीएम कमलनाथ का समर्थन मिल गया है. कमलनाथ ने नर्सों की हड़ताल का समर्थन करते हुए कहा कि सरकार इनकी मांग पूरी करें. उन्होंने कहा कि नर्सों के प्रति सरकार का रवैया संवेदनहीन है.

दरअसल पूर्व सीएम कमलनाथ ने हड़ताल कर रही नर्सों को लेकर एक ट्वीट किया है. कमलनाथ ने अपने ट्वीट में लिखा कि मैं नर्स बहनों की मांगों का समर्थन करता हूं और शिवराज सिंह से मांग करता हूं कि संवेदनशीलता का परिचय दीजिए और नर्स बहनों की मांगों को पूरा कीजिए. ताकि हड़ताल समाप्त हो और आमजन को स्वास्थ्य सुविधाएं सुचारू रूप से मिलें.

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कमलनाथ ने आगे कहा कि राष्ट्र की सेवा कर रही नर्स बहनें अपनी मांगों को लेकर विगत 5 दिवस से तपती धूप में खुले आकाश के नीचे हड़ताल और प्रदर्शन करने को मजबूर हैं, और प्रदेश सरकार का रवैया संवेदनहीन है. उन्होंने ये भी कहा कि कोरोना महामारी के दौरान प्रदेश की नर्स बहनों ने कोरोना पीड़ित मरीजों की दिन-रात सेवा की, और लाखों नागरिकों की जान बचाकर मानव सेवा की मिसाल पेश की.

गौरतलब है कि  मध्य प्रदेश में 30 जून से नर्सिंग स्टाफ अपनी 12 मांगों को लेकर हड़ताल पर बैठा है. कई जिलों में इस कारण वैक्सीनेशन के काम में भी बाधा उत्पन्न हो रही है. वहीं चिकित्सा शिक्षा मंत्री विश्वास सारंग लगातार नर्स असोसिएशन की मांगों का समाधान करने में लगे हुए हैं. शुक्रवार को मंत्री से बात करने के बाद सोमवार को एक बार फिर दोनों पक्षों के बीच बातचीत होगी. उम्मीद लगाई जा रही है कि नर्सिंग स्टाफ और सरकार के बीच जल्द ही सुलह हो सकती है.

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ये हैं उनकी मांगें

  • स्टाफ नर्स की जगह उन्हें नर्सिंग ऑफिसर का पद व नाम मिले
  • वेतनवृद्धि हो- मध्य प्रदेश में भी अन्य राज्यों की तरह सेकंड ग्रेड वेतन दिया जाए
  • पुरानी पेंशन योजना लागू हो
  • कोरोना काल में शहीद हुए नर्सिंग स्टाफ के परिजनों को अनुकम्पा नियुक्ति मिले
  • 15 अगस्त को उन्हें ‘राष्ट्रीय कोरोना योद्धा’ के रूप में सम्मानित किया जाए
  • कोरोना काल में बनीं योजनाओं को लागू किया जाए
  • अगली दो वेतनवृद्धि को वेतन में जोड़ा जाए
  • प्रमोशन शुरू किए जाएं
  • नर्सिंग कॉलेज की छात्राओं को कलेक्टर रेट पर अस्पतालों में रखा जाए
  • 2018 भर्ती नियमों मे संशोधन हो, 70, 80 और 90 प्रतिशत का नियम हटे. प्रतिनियुक्त समाप्त कर स्थानांतरण की प्रक्रिया शुरू हो
  • सरकारी और मेडिकल कॉलेज में काम करने वालीं नर्सों को उच्च शिक्षा के लिए आयु सीमा हटाई जाए
  • कोरोना काल में अस्थाई भर्ती नर्सिंग स्टाफ को परमानेंट किया जाए