शब्बीर अहमद, भोपाल। मध्य प्रदेश पटवारी भर्ती परीक्षा का विरोध बढ़ते ही जा रहा है। अभ्यर्थी राजधानी भोपाल के बाद अब दिल्ली में विरोध प्रदर्शन करेंगे। छात्रों ने प्रशासन पर गंभीर आरोप लगाए है। उन्होंने कहा कि हमे कल जबरन हिरासत में लेकर परेशान किया गया। आंदोलनकर्ताओं ने सरकार को दो दिन का समय दिया है। 2 दिन के अंदर रिपोर्ट सार्वजनिक कर फिर से परीक्षा का निर्देश देने की बात कही है। उन्होंने कहा कि प्रदेश के शिक्षा माफिया को खत्म करने के लिए छात्र दिल्ली कूच करेंगे।

दरअसल, पटवारी भर्ती परीक्षा 15 मार्च से 26 अप्रैल के बीच 78 केंद्रों में आयोजित की गई थी। इसमें लगभग 12 लाख से अधिक विद्यार्थियों ने आवेदन किए थे, लेकिन परीक्षा में लगभग 9 लाख विद्यार्थी शामिल हुए थे। पटवारी भर्ती परीक्षा रिजल्ट जैसे ही 30 जून को जारी हुआ और 8617 सिलेक्ट हुए उम्मीदवारों की मेरिट लिस्ट जारी हुई। इसी दौरान ग्वालियर के NRI कॉलेज जिसे पटवारी भर्ती परीक्षा में परीक्षा केंद्र बनाया गया था।

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इस NRI कॉलेज से 10 में से 7 स्टूडेंट टॉप 10 में आए, तभी से इस पटवारी भर्ती परीक्षा में धांधली के आरोप लगने लगे। कॉंग्रेस की ओर से जमकर सियासत की गई। जिसके बाद पटवारी भर्ती परीक्षा रोकी गई। साथ ही तत्कालीन मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने जांच कमेटी गठित कर जांच के निर्देश दिए थे।

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इसकी जांच रिपोर्ट सामने आने के बाद भर्ती परीक्षा में धांधली जैसे आरोपों को गलत बताते हुए क्लीन चिट दी गई। पटवारी भर्ती परीक्षा को क्लीन चिट मिलने के बाद से लगातार इसका विरोध हो रहा है। आंदोलन कर रहे छात्राओं का कहना है कि क्लीन चिट की रिपोर्ट को सार्वजनिक की जाए।

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