Rajasthan News: जयपुर. हनुमानगढ़ विधानसभा सीट से जुड़े तमाम मिथकों को तोड़ते हुए निर्दलीय प्रत्याशी के रूप में चुनाव मैदान में उतरे नगर परिषद सभापति गणेश राज बंसल हनुमानगढ़ की आवाज बन गए हैं. टिकट न मिलने से खफा होकर कांग्रेस से बागी होकर गणेश राज बंसल ने अपने निकटतम प्रत्याशी भाजपा के अमित सहू को 9441 मतों के अन्तर से पराजित किया.

पिछले पांच दशक में गणेश राज बंसल एकमात्र निर्दलीय प्रत्याशी हैं जिन्हें विधायक बनने का सौभाग्य मिला है. यानी यह रिकार्ड गणेश राज बंसल के नाम हो गया है. लेकिन एक बड़ा रिकार्ड और बना है. पांच दशक में गैर जाट विधायक बनने का रिकार्ड भी गणेश राज बंसल के नाम हो गया है. साल 1957 में कांग्रेस के बृजप्रकाश गोयल पहली बार गैर जाट विधायक बने थे. उसके बाद किसी को यह मौका नहीं मिला.

जीत के बाद मीडियाकर्मियों से बात करते हुए गणेश राज बंसल ने कहा कि वे हनुमानगढ़ विधानसभा क्षेत्र की जनता के आभारी रहेंगे कि उन्होंने बदलाव करते हुए वंशवाद को परास्त किया और विकास का साथ दिया. उनकी प्राथमिकता विकास से वंचित ग्रामीण क्षेत्र में शहरी क्षेत्र की तरह विकास करवाना रहेगा. किसानों की सिंचाई पानी-बिजली व बीज की समस्या को समय रहते हल करवाने का प्रयास किया जाएगा.

गांवों में स्वच्छ पेयजल की सुविधा नहीं है. सड़कें नहीं हैं. अच्छी शिक्षा और बेहतर चिकित्सा सुविधा जनता को मुहैया करवाने के लिए प्रयासरत रहेंगे. प्रदेश में भाजपा की सरकार बनने पर किसके साथ जाएंगे के सवाल के जवाब में बंसल ने कहा कि वे हनुमानगढ़ विधानसभा क्षेत्र के विकास के लिए सत्ता के साथ जाएंगे. बंसल ने कहा कि दोनों मुख्य पार्टियां व्यक्ति विशेष को तवज्जो न देकर मात्र दो परिवारों तक ही सीमित रही और वंशवाद को बढ़ावा दिया. इस कारण जनता में रोष था. जनता ने इन दोनों परिवारों से त्रस्त होकर बदलाव किया है.

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