अजयारविंद नामदेव, शहडोल। एक ओर जहां प्रशासन किसानों की धान खरीदी के लिए जोर-शोर से युद्ध स्तर पर तैयारी जुटा हुआ है तो वहीं दूसरी ओर शहडोल जिले में किसानों से समर्थन मूल्य में खरीदे गए 11 हजार क्विंटल धान गायब होने का मामला सामने आने से हड़कंप मच गया है। धान स्कैम सामने आने के बाद संबंधित अधिकारी अब अपनी कमी को छिपाने के लिए समिति व संबंधित ठेकेदार से इसकी वसूली करने की बात कहकर पल्ला झाड़ रहे हैं।

MP कांग्रेस को बड़ा झटका: कमलनाथ के करीबी नेता नरेंद्र सलूजा BJP में शामिल, बोले- ऐसे नेता के साथ नहीं रह सकता, जिस पर मेरे धर्म के लोगों की हत्या का आरोप हो

दरअशल, शहडोल जिले में बीते साल समर्थन मूल्य पर किसानों से धान की खरीदी की गई थी। खरीदी गए धान की मात्रा और गोदाम में जमा की गई मात्रा में 11 हजार क्विंटल का अंतर आया है। जिसकी कीमत 2 करोड़ 33 लाख के आस पास की बताई जा रही है। बड़ी मात्रा में धान गायब होने से एमपी स्टेट सिविल सप्लाई कारपोरेशन विभाग में भी हड़कंप मच गया है। अब नान विभाग सम्बंधित समिति व परिवहनकर्ता ठेकेदार से राशि वसूलने की बात कह रहा है।

खाकी पर दाग: आरक्षक ने शादी का झांसा देकर 2 साल तक किया युवती का शारीरिक शोषण, आरोपी गिरफ्तार

आपको समझाते है कि 11 हजार क्विंटल धान कैसे गायब हुआ

बीते वर्ष 1940 रुपए प्रति क्विंटल की दर से धान समर्थन मूल्य पर 14 लाख 6 हजार क्विंटल धान किसानों से समिति के माध्यम से खरीदा गया था। जिसका परिवहन शानू ट्रांसपोर्ट के माध्यम से किया गया था। जिसके बाद अब गोदाम में जमा 11 हजार क्विंटल धान कम पाया गया है। जिसकी कीमत 2 करोड़ रुपए से अधिक है।

Read more- Health Ministry Deploys an Expert Team to Kerala to Take Stock of Zika Virus