स्पोर्ट्स डेस्क. भारतीय पहलवान अंकुश को अंडर-23 विश्व कुश्ती चैंपियनशिप में महिलाओं के 50 किग्रा भार वर्ग में रजत पदक से संतोष करना पड़ा जबकि विकास (72 किग्रा) और नितेश (97 किग्रा) ने कांस्य पदक जीते जिससे भारत इस प्रतियोगिता की ग्रीको रोमन शैली में 3 पदकों के साथ अपना सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन करने में सफल रहा. अंकुश के सामने फाइनल में कड़ी चुनौती थी क्योंकि उनका सामना जापान की युई सुसाकी से था जो कि मौजूदा ओलम्पिक और विश्व चैम्पियन है. जापानी पहलवान ने अपनी ख्याति के अनुरूप प्रदर्शन करके 2 मिनट से भी कम समय में भारतीय खिलाड़ी को हराकर स्वर्ण पदक जीता. Also Read – फूंक मारने से पता चलेगा ब्रेस्ट और मुंह का कैंसर, आसानी से होगा मरीजों का इलाज

युई सुसाकी ने रचा इतिहास, कुश्ती का ग्रैंडस्लैम किया पूरा

युई सुसाकी ने इस जीत से इतिहास भी रचा और वह कुश्ती का ग्रैंडस्लैम पूरा करने वाली पहली पहलवान बन गई हैं. उनके नाम पर ओलम्पिक खेलों का स्वर्ण पदक तथा 4 विश्व खिताब दर्ज हैं. उन्होंने अंडर-17, अंडर-20, अंडर-23 और सीनियर चैंपियनशिप में स्वर्ण पदक जीते हैं.

ग्रीको रोमन में भारत के पदकों की संख्या 3 पर पहुंची

विकास और नितेश ने ग्रीको रोमन में भारत के पदकों की संख्या 3 पर पहुंचाई. इससे एक दिन पहले साजन भानवाला ने 77 किग्रा में कांस्य पदक जीता था जो कि विश्व कुश्ती चैंपियनशिप में ग्रीको रोमन में भारत का पहला पदक भी था. विकास ने कांस्य पदक के मुकाबले में जापान के दाइगो कोबायाशी को 6-0 से हराया, जबकि नितेश ने ब्राजील के इगोर फर्नांडो अल्वेस डी क्विरोज को तकनीकी श्रेष्ठता से पराजित किया. Also Read – अब आप भी घर पर बनाए राजस्थान की Famous केर सांगरी, यहां जानें बनाने की विधि …

यह परिणाम इसलिए भी महत्वपूर्ण है क्योंकि ग्रीको रोमन के 10 पहलवानों में से केवल 6 को ही वीजा मिल पाया था. स्पेन के दूतावास ने ग्रीको रोमन के 4 पहलवानों सहित 21 भारतीय पहलवानों को वीजा नहीं दिया था.