प्रयागराज. 29 जनवरी की रात महाकुंभ क्षेत्र में भगदड़ मची थी. इस भगदड़ में 30 लोगों की जान गई थी. वहीं 60 लोग घायल हुए थे. जिसके बाद सरकारी सिस्टम की व्यवस्थाओं को लेकर काफी सवाल उठे. घटना के बाद सीएम योगी ने न्यायिक आयोग को जांच की जिम्मेदारी सौंपी थी. ऐसे में न्यायिक आयोग के 3 सदस्य रिटायर्ड जज हर्ष कुमार, पूर्व डीजी वीके गुप्ता और रिटायर्ड आईएएस डीके सिंह प्रयागराज पहुंचे. जहां अधिकारियों से 4 सवाल किए गए और किसी भी सवाल का जवाब अधिकारियों के पास ढंग से मौजूद नहीं था.
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बता दें कि न्यायिक आयोग की जांच टीम ने कमिश्नर प्रयागराज जोन विजय विश्वास पंत, मेला अधिकारी विजय किरन आनंद, एडीजी प्रयागराज जोन भानु भास्कर, डीआईजी वैभव कृष्ण के साथ ही पुलिस के अन्य अफसर शामिल हुए थे. जानकारी के अनुसार, अधिकारियों से घटना की वजह, तैयारियों की प्लानिंग और सुरक्षा को लेकर इंतजाम के बारे में पूछा गया, लेकिन किसी भी सवाल का जवाब सटिक नहीं मिला. अधिकारी जवाब देने की बजाय तारीफ के पुल बांधने में लगे थे. जिस पर आयोग ने पूछ लिया कि अगर सब ठीक था तो भगदड़ कैसे हुई?
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क्या थे वो 4 सवाल
न्यायिक आयोग की जांच टीम ने अधिकारियों से पहला सवाल करते हुए पूछा कि जब आप लोगों को पता था कि इतनी ज्यादा भीड़ आने वाली है तो सुरक्षा के इंतजाम क्या किए थे? दूसरा सवाल था कि मीडिया में जो वीडियो वायरल हो रहे हैं, उनकी क्या हकीकत है? क्या झूंसी में भी कोई घटना हुई है? तीसरा सवाल ये पूछा गया कि यह घटना संगम क्षेत्र के अलावा और कहां-कहां हुई? और चौथा प्रश्न ये पूछा गया कि भीड़ कंट्रोल के लिए बनाई प्लानिंग का विवरण दीजिए और सभी घटनाओं के सीसीटीवी फुटेज दिखाइए
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