रायपुर। मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय के नेतृत्व में संचालित नियद नेल्ला नार योजना के तहत बस्तर संभाग के दूरदराज गाँवों में विकास की किरणें तेजी से फैल रही हैं। इसी कड़ी में बीजापुर जिले के कोंडापल्ली गाँव में पहली बार मोबाइल नेटवर्क सुविधा शुरू हुई, जिससे ग्रामीणों में खुशी और उत्साह की लहर दौड़ गई। मुख्यमंत्री साय का कहना है कि यह सिर्फ एक टावर का खड़ा होना नहीं है, बल्कि उन लोगों के सपनों का उठ खड़ा होना है, जो दशकों से बाहरी दुनिया से कटे हुए थे।

कोंडापल्ली तेलंगाना और छत्तीसगढ़ की सीमा पर स्थित एक घना वनांचल है, जहाँ वर्षों से सड़क, बिजली और पेयजल जैसी सुविधाएँ उपलब्ध नहीं थीं। ऐसे में गाँव में मोबाइल टावर स्थापित होना स्थानीय समुदाय के लिए केवल तकनीकी प्रगति नहीं, बल्कि दुनिया से जुड़ने का प्रतीक बन गया। जैसे ही टावर के सक्रिय होने की घोषणा हुई, ग्रामीणों में उत्साह की लहर दौड़ पड़ी। महिलाएँ, पुरुष, बच्चे—सभी रैली के रूप में टावर स्थल तक पहुँचे। पारंपरिक विधि से टावर की पूजा-अर्चना की गई। माँदर की थाप पर लोग भावुक होकर नाच उठे। यह दृश्य किसी उत्सव से कम नहीं था।

इस उत्सव में केवल कोंडापल्ली ही नहीं, बल्कि आसपास के गाँवों के लोग भी शामिल हुए। ग्रामीणों ने कहा कि यह उनके लिए केवल एक तकनीकी सुविधा नहीं, बल्कि “बाहरी दुनिया से पहला वास्तविक जुड़ाव” है। सुरक्षा बलों के जवानों ने भी ग्रामीणों की खुशी में शामिल होकर मिठाइयाँ वितरित कीं। अब मोबाइल नेटवर्क ग्रामीणों के लिए बैंकिंग, आधार, राशन, स्वास्थ्य योजनाओं, पेंशन और शैक्षणिक सुविधाओं का प्रवेश-द्वार बनेगा। जिनके लिए ये सेवाएँ अब तक दूर का सपना थीं, उनके लिए यह दिन जीवन में एक नया अध्याय लेकर आया है।

गौरतलब है कि मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय के नेतृत्व में संचालित नियद नेल्ला नार योजना का उद्देश्य संवेदनशील क्षेत्रों में बुनियादी सुविधाएँ पहुँचाकर लोगों में विश्वास बढ़ाना और उन्हें मुख्यधारा से जोड़ना है। योजना के तहत सड़क, बिजली, शिक्षा, स्वास्थ्य, पेयजल, बैंकिंग, संचार सहित प्रशासनिक सेवाओं को तेज़ी से पहुँचाने का काम किया जा रहा है।

व्यापक है योजना का दायरा

बता दें कि 69 नवीन कैम्पों के आसपास स्थित 403 ग्रामों में 9 विभागों की 18 सामुदायिक सेवाएँ और 11 विभागों की 25 व्यक्तिमूलक योजनाएँ पहुँचाई जा रही हैं, ताकि ग्रामीण किसी भी मूलभूत सुविधा से वंचित न रहें। इस पूरी प्रक्रिया में संचार अधोसंरचना सबसे प्रभावी साबित हो रही है। पिछले दो वर्षों में इस क्षेत्र में 728 नए टावर स्थापित किए गए हैं—जिनमें 116 एलडब्ल्यूई कार्यक्रम से, 115 आकांक्षी जिलों में, और 467 टावर 4G नेटवर्क के रूप में लगाए गए हैं। इसके साथ ही 449 टावरों का 2G से 4G में उन्नयन किया गया है।

कोंडापल्ली में नियद नेल्ला नार योजना से तेज़ी से बदलाव आए हैं। दिसंबर 2024 में कैम्प स्थापित होने के बाद पहली बार प्रशासन गाँव तक नियमित रूप से पहुँचने लगा। यहाँ लंबे समय से बंद पड़ी सड़क का पुनर्निर्माण बार्डर रोड ऑर्गेनाइजेशन ने अपने जिम्मे लिया है और 50 किलोमीटर सड़क का कार्य प्रगति पर है।

गाँव में दो महीने पहले ही पहली बार विद्युत लाइन पहुँची है। बिजली आने के बाद से बच्चों की पढ़ाई, छोटे व्यवसाय और ग्रामीण जीवन में अभूतपूर्व सकारात्मक बदलाव देखे जा रहे हैं। प्रशासन द्वारा लगातार सेचुरेशन शिविर आयोजित कर सभी योजनाओं का लाभ प्रत्येक परिवार तक पहुँचाया जा रहा है।

कोंडापल्ली में मोबाइल नेटवर्क के आगमन से यह स्पष्ट हो गया है कि विकास की किरण अब उन इलाकों तक भी पहुँच रहा है, जो वर्षों से प्रतीक्षा में थे। संचार सुविधा के इस नए सवेरे ने ग्रामीणों को भरोसा दिया है कि अब उनका गाँव भी राज्य के अन्य हिस्सों की तरह आधुनिक सुविधाओं से जुड़कर आगे बढ़ेगा।

CM साय ने कहा—”हमारी सरकार का संकल्प, विकास की मुख्यधारा से जुड़े बस्तर का हर गांव–हर परिवार

मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने कहा कि बीजापुर जिले के कोंडापल्ली में मोबाइल नेटवर्क का पहुँचना सिर्फ एक टावर का खड़ा होना नहीं है, यह उन लोगों के सपनों का उठ खड़ा होना है जो वर्षों से दुनिया से कटे हुए थे। हमारी सरकार का संकल्प है कि बस्तर का हर गांव–हर परिवार विकास की मुख्यधारा से जुड़े, डिजिटल सुविधाओं तक पहुँचे और अवसरों के नए द्वार उनके लिए खुलें। यह सिर्फ संचार की शुरुआत नहीं, बल्कि विश्वास, बदलाव और नई संभावनाओं के युग का आरंभ है।

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