सुजान सिंह, अमरवाड़ा (छिंदवाड़ा) मध्य प्रदेश के छिंदवाड़ा जिले में समन्वित कृषि प्रणाली से प्राकृतिक खेती कर रहे एक आदिवासी किसान ने महज 6 एकड़ खेती से दस लाख रूपए का मुनाफा कमाकर सबको हैरान कर दिया है। किसान अपने खेत में प्राकृतिक रूप से केले की खेती की और अच्छी डिमांड के चलते किसान ने अच्छा मुनाफा भी कमाया। वही किसान द्वारा की जा रही प्राकृतिक खेती को देखने जिले के कलेक्टर भी पहुंचे।

नरसिंहपुर में मूसलाधार बारिश से उफान पर नर्मदा: कई शहरों का टूटा संपर्क, कलेक्टर ने किया दौरा, देखें ग्राउंड जीरो रिपोर्ट

दरअसल छिंदवाड़ा के अमरवाड़ा में समन्वित कृषि प्रणाली से प्राकृतिक खेती कर रहा एक किसान इन दिनों चर्चा में है। किसान द्वारा समन्वित रूप से अपनी 6 एकड़ खेती में केला, मक्का, सब्जियां और अन्य फलो की खेती की जा रही है, जिससे किसान ने दस लाख रुपये का मुनाफा कमाकर सबको हैरान कर दिया है। वही किसान द्वारा की जा रही प्राकृतिक खेती को देखने जिला कलेक्टर शीलेन्द्र सिंह भी पहुंचे, और किसान को क्षेत्र के किसानों के लिए एक मॉडल बताया। वही कलेक्टर ने किसान के साथ वृक्षारोपण भी किया।

अधिकारियों के साथ खेत पहुंचे कलेक्टर

कलेक्टर शीलेन्द्र सिंह अधिकारियों के साथ विकासखंड हर्रई के ग्राम भुमका के प्राकृतिक खेती करने वाले कृषक पूरनलाल इनवाती के खेत मे पहुंचकर समन्वित कृषि प्रणाली अपनाते हुए प्राकृतिक पध्दति से एक एकड़ में की जा रही केले की खेती, शेष जमीन मे मक्का, टमाटर, बैंगन एवं फलदार पौधे आम, कटहल, आंवला, सेव, एप्पल बेर, ड्रेगन फ्रूट्स, नींबू, संतरा, काजू के पौधे का अवलोकन किया।

कृषक द्वारा पशुपालन, बकरी पालन एवं मछली पालन इकाई स्थापित कर की जा रही समन्वित खेती का भी अवलोकन किया गया। साथ ही कलेक्टर सिंह द्वारा एक पेड मां के नाम अभियान के अंतर्गत लौंग के पौधे का रोपण किया गया एवं ग्रामीण विकास विभाग द्वारा निर्मित खेत तालाब में मछली पालन के लिये आत्मा परियोजना के माध्यम से मछली का बीज कलेक्टर सिंह के हस्ते तालाब में छोडा गया एवं मुर्गीपालन (कड़कनाथ) यूनिट का अवलोकन किया गया।

किसान ने कलेक्टर को बताई विधि

कृषक पूरनलाल इनवाती द्वारा ड्रिप पद्धति एवं फसल अवशेष प्रबंधन कर पूर्णतः प्राकृतिक रूप से केले की टिश्यू कल्चर के द्वारा तैयार किस्म जी-9 लगाई गई हैं। साथ ही फसल अवशेष प्रबंधन करके मिट्टी की गुणवत्ता को सुधारा जा रहा है। कृषक द्वारा पिछले वर्ष आधा एकड़ में केले की प्राकृतिक खेती कर 02 लाख 07 हजार रूपये का शुध्द मुनाफा प्राप्त किया गया था तथा इस वर्ष एक एकड से 04 से 05 लाख रूपये का शुध्द मुनाफा प्राप्त होना बताया । एक एकड में 800 पौधे लगाये हैं, प्रति पौधे से औसतन 45 कि.ग्रा. फल प्राप्त हो रहे हैं, जिसे किसान द्वारा जबलपुर मंडी में औसतन 25 रूपये प्रति किलो के भाव से विक्रय किया जा रहा है।

कृषक इनवाती द्वारा बताया गया कि हमारा प्राकृतिक केला जबलपुर मंडी में छिंदवाड़ा के केले के नाम से प्रसिद्ध है एवं व्यापारियों/आढ़तियों द्वारा हाथों-हाथ उचित दाम देकर खरीद लिया जाता है। सामान्यतः जहां केले के भाव 15 से 18 रूपये प्रति किलो की दर से मंडी में खरीदी होती है, वही हमारा प्राकृतिक केला 25 रूपये प्रति किलो की दर से हाथों-हाथ बिक रहा है। इस प्रकार इनवाती द्वारा लगभग 6 एकड जमीन से वर्ष में लगभग 10 लाख रूपये का शुध्द लाभ प्राप्त किया जा रहा है। इससे प्रेरणा लेकर जिले के अन्य किसान भी प्राकृतिक खेती को अपनाकर एवं समन्वित खेती कर अपनी आय बढा सकते हैं।