रायपुर। जैन संस्कार विधि अपना कर हम बाहृय आडम्बर से दूर हो कर आध्यात्मिकता से ओतप्रोत हो कर विधि-विधान संपादित कर सकते हैं. यह बात मुनि सुधाकर ने रायपुर के टैगोर नगर स्थित श्री लाल गंगा पटवा भवन में आयोजित जैन संस्कार विधि से दीपावली व बहीखाता पूजन कार्यशाला में कही. इसे भी पढ़ें : धान उपार्जन केन्द्रों में 55 लाख का फर्जीवाड़ा, पुलिस ने एफआईआर दर्ज कर 3 प्रभारियों को किया गिरफ्तार…
गतिमान चातुर्मासिक प्रवास अंतर्गत आचार्य महाश्रमण के सुशिष्य मुनि सुधाकर व मुनि नरेश कुमार के सान्निध्य में अखिल भारतीय तेरापंथ युवक परिषद् निर्देशन में तेरापंथ युवक परिषद्, रायपुर की ओर से कार्यशाला का आयोजन किया गया था.
कार्यशाला में मुनि सुधाकर ने कहा कि जैनत्व के संस्कारों को सामान्य जन-मानस तक पहुंचाने का कार्य जो तेरापंथ युवक परिषद् कर रही है, वह अनुमोदनीय है. इसमें जैन धर्म के महत्वपूर्ण तथ्य अहिंसा का समायोजन भी होता है.
संस्कारक अनिल दुगड़ व सूर्य प्रकाश बैद ने संपूर्ण विधि मंत्रोच्चार करते हुए जैन संस्कार विधि से दीपावली पूजन कैसे की जाए उपस्थित श्रावक-श्राविकाओं को समझाया. इस अवसर पर स्वागत व आभार स्वर अध्यक्ष वीरेंद्र डागा व विशेष सहयोग ऋषभ बोथरा ने किया. कार्यशाला में मंगल भावना व विधि पत्रक संस्था द्वारा उपलब्ध कराया गया.
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